मारुति उद्योग के श्रमिकों को सड़क सुरक्षा के प्रति जागरूक किया : कुलदीप जांघू
सुरक्षित सड़क यात्रा के टिप्स दिए और यातायात नियमों से अवगत कराया
ट्रैफिक नियमों के अनुपालन को आदत में ढालने को किया प्रेरित
गुरुग्राम। सेक्टर 18 स्थित मारुति उद्योग कामगार यूनियन ने कंपनी में मेंटेनेंस शट डाउन की अवधि को श्रमिकों के लिए सफल, सुखद और सुरक्षित बनाने का बीड़ा उठाया . इस दृष्टिकोण के तहत यूनियन के पदाधिकारियों और सदस्यों ने गुरुवार को अपने श्रमिक साथियों को सड़क सुरक्षा के बारे में जागरूक करने के लिए बड़े पैमाने पर अभियान चलाया। सुरक्षा सम्बन्धी सावधानियां बरतने के लिए सभी को प्रेरित किया जबकि इसमें चूक बरतने से होने वाली शारीरिक एवं धन हानि के बारे में अगाह किया.
वर्तमान मौसम में गुरुग्राम-दिल्ली एनसीआर सहित देश के विभिन्न भागों में एक तरफ लोग गिरते तापमान से परेशान हैं तो दूसरी तरफ धुंध में सडकों पर विजिविलिटी न्यूनतम होने के कारण दुर्घटनाओं की आशंका भी बढ़ गयी है. धुंध के कारण या फिर व्यक्तिगत असावधानियों के कारण अक्सर दुर्घटना की खबर सुनने व देखने को मिल रही है. इस स्थिति से श्रमिकों को व उनके परिवारों को बचाव के लिए मारुति उद्योग कामगार यूनियन ने अपने कर्मचारी साथियों को जागरूक बनाने का विशेष अभियान चलाने का निर्णय लिया. इस अभियान के आरम्भ में आज यूनियन के पदाधिकारियों व सदस्यों ने जारुकता कार्यक्रम का आयोजन किया. सड़क सुरक्षा को सर्वोपरि मानते हुए आवश्यक मानकों का पालन करने का सुझाव दिया. इस ट्रेनिंग कार्यक्रम में ट्रेफिक नियमों के पालन के लिए प्रेरित करने के अलावा नशे की हालत में वाहन नहीं चलाने की नसीहत दी. इससे सम्बंधित सन्देश व सावधानियों का उल्लेख करते हुए पम्पलेट वितरित किये गए.
उल्लेखनीय है कि कंपनी में हर वर्ष की भांति साल में दो बार सामान्यतया एक सप्ताह के लिए मशीनों के रखरखाव के लिए शट डाउन किया जाता है. इसी कारण मेंटमैन्स विभाग के अलावा सभी कर्मचारियों की छुट्टी होती है। यूनियन के महासचिव कुलदीप जांघू के अनुसार शटडाउन की अवधि के दौरान कंपनी के अधिसंख्य कर्मचारी अपने परिजनों एवं मित्रों के साथ विभिन्न यात्राओं पर सड़क मार्ग द्वारा जाते हैं. कई बार अप्रत्याशित घटनाएँ हो जाती हैं. इससे जन व धन दोनों की हानि होती है.
इसलिए सड़क दुर्घटनाओं की रोकथाम एवं सड़क मार्ग से सुरक्षित यात्रा करने के टिप्स कर्मचारियों को दिए गए. यातायात के नियमों को विस्तार से बताया गया और सम्बंधित नियमों के पालन के प्रति संवेदनशील बनने को प्रोत्साहित किया गया. उनके अनुसार यह जागरुकता कार्यक्रम हर वर्ष आयोजित किया जाता है।
उन्होंने बताया कि इस अवसर पर डयूटी पर आते व जाते समय कर्मचारियों को सुरक्षा को जीवन का आधार बनाने के लिए दुपहिया वाहन को भारी वाहनों से दूर चलाने, पशुओं से सतर्क रहकर उचित दूरी बनाकर चलने, तनाव-थकान – नशे की हालत में वाहन ना चलाने की नसीहत दी गयी. चलती बस व ट्रैन में चढ़ने से होने वाले नुकसान के लिए आगाह किया जबकि हमेशा सतर्क रहकर सड़क पर डिस्प्ले किये गए दिशा निर्देशों का पालन करने पर बल दिया गया.
श्रमिकों को सड़क पार करने के दौरान जेब्रा क्रॉसिंग का ध्यान रखने और दोपहिया वाहन चालकों के लिए हेलमेट तथा चार पहिया वाले वाहन चालकों के लिए सीट बेल्ट लगाने के प्रयोग को अनिवार्य बताया गया. यहाँ तक कि हेलमेट को बिना चिन स्ट्रेप के पहनना व रात्रि को ड्राइविंग ना करने जैसे सन्देश वाले तख्ती डिस्प्ले कर जागरूक किया. उन्होंने बताया कि सभी को सुरक्षा मानकों का पालन करना अपनी आदत बना लेनी चाहिए. लेकिन असावधानी बरतने की आदत हमारे लिए खतरनाक साबित होती है. यह हम करते हैं।
जनहित में चलाई गई इस विशेष मुहीम में मनीष पंडित, जोगेस्वर साहू, के के अरोड़ा, धर्मेन्द्र कुमार, विशाल जोशी, विनायक मिश्रा, अनिल धनखड़, ए एन पाण्डेय, राहुल, अमित जैन, रचित, राजेश, दिवाकर, अंकित, पलकेश, सोनू आदि शामिल थे।