-महेन्द्रगढ़ को विकासयुक्त एवं समस्यामुक्त करना ही मेरा मकसद
-खेती के साथ-साथ राठी नस्ल की गाय व मुर्राह नस्ल की भैंस पालें
महेन्द्रगढ़, 17 जुलाई : शिक्षा मंत्री प्रो. रामबिलास शर्मा ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के जनसेवा काल में समूचे हिन्दुस्तान ने हर क्षेत्र में अभूतपूर्व प्रगति की है। मौजूदा भाजपा प्रदेश सरकार ने भी समूचे प्रदेश में विकास की गंगा बहा कर किसानों, पशु पालकों, गरीबों, मजदूरों, व्यापारियों एवं आमजन को खुशहाली की ओर अग्रसर करने में कोई कोर-कसर नहीं छोड़ी हुई है। इसी कड़ी में महेन्द्रगढ़ क्षेत्र को विकास से युक्त एवं हर प्रकार की समस्या से मुक्त करना ही मेरा मकसद है। बेहतरीन सड़कें विकास की धूरी होती हैं, इसी बात को ध्यान में रखते हुए समूचे हरियाणा में सड़कों का जाल बिछाया गया है।
उक्त विचार प्रो. शर्मा ने गत दिवस अपने पैतृक गांव राठीवास में क्षेत्रवासियों की समस्याएं सुनने उपरांत व्यक्त किए। उन्होंने कहा कि किसान, पशुपालन एवं श्रमिक देश की अर्थ व्यवस्था बढ़ोतरी व विकास की रीढ़ हैं। कृषि प्रधान हरियाणा प्रदेश के किसानों एवं पशुपालकों को जोखिममुक्त बनाने के लिए भाजपा प्रदेश सरकार द्वारा अनेकों जनहितैषी योजानाएं लागू की गई हैं। कृषि एवं किसानों के कल्याणार्थ केन्द्र एवं प्रदेश सरकार द्वारा प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना व पशुधन बीमा योजना शुरू की गई है। इनको अपना कर आर्थिक स्थिति को मजबूती प्रदान करें। देश एवं प्रदेश के विकास में सहयोग देने वाले श्रमिकों के लिए भी अनेकों कलयाणकारी स्कीमें लागू की गई हैं।
प्रदेश के शिक्षा मंत्री प्रो. रामबिलास शर्मा ने किसानों एवं पशुपालकों को सरकारी योजनाओं का लाभ उठाने का आह्वान करते हुए कहा कि हरियाणा के लोगों का मुख्य व्यवसाय कृषि एवं पशुपालन है जो कि देश एवं प्रदेश की अर्थ व्यवस्था बढ़ोतरी की रीढ़ हैं। उन्होंने देसां मैं देश हरियाणा जड़ै दूध दही का खाना का हवाला देते हुए कहा कि लोगों के पशुधन विकास के लिए प्रदेश के मुख्यमंत्री मनोहर लाल एवं सरकार द्वारा कल्याणकारी स्कीमें लागू की गई हैं। उन्होंने कहा कि हिन्दु धर्म में गाय को गौमाता का दर्जा प्राप्त है तथा इसी के मद्देनजर हरियाणा के इतिहास में पहली बार स्पष्ट बहुमत से बनी हरियाणा की बीजेपी सरकार द्वारा देश के इतिहास मे पहली बार प्रदेश में गौ-संरक्षण एवं गौ-संवर्धन अधिनियम लागू किया गया।
उन्होंने कहा कि दुग्ध डेयरियां स्थापित करने के लिए पशुपालकों को सरकार की स्कीम के अंतर्गत ऋृण भी उपलब्ध करवाया जाता है। हरियाणा नस्ल की 8 से 12 किलो या इससे अधिक दूध देने वाली गाय के मालिक को 10 हजार से 20 हजार रूपये तक का नकद पुरस्कार दिया जाता है। साहीवाल नस्ल की 10 से लेकर 15 किलो या इससे ज्यादा दूध देने पर 10 हजार से लेकर 20 हजार रूपये का इैनाम देने का प्रावधान है। इसी प्रकार मुर्राह नस्ल की 18 से 25 किलो व इससे अधिक दूध देने वाली भैंसों के मालिकों को 15 हजार से लेकर 30 हजार रूपये का नकद पुरस्कार दिया जाता है। प्रो. शर्मा ने किसानों, पशुपालकों से कहा है कि वे हरियाणा व राठी नस्ल की गाय तथा मुर्राह नस्ल के दुधारू पशुओं को पाल कर आर्थिक स्थिति को मजबूत करें।
इस अवसर पर राजपूत सभा प्रधान ठाकुर पृथ्वी सिंह बुचावास, लक्ष्मीनारायण सरपंच राजावास, नपा प्रधान रीना बंटी, उप प्रधान रमेश बोहरा, पार्षद सुरेन्द्र बंटी, पार्षद अमित मिश्रा, पाषद देवेन्द्र सैनी सहित अनेकों गांवों के सरपंच एवं अन्य गणमान्य जन हाजिर थे।