ट्रेजरी में 31 मार्च को कोई भी बिल नहीं होगा स्वीकार्य

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चंडीगढ़ :  हरियाणा सरकार ने केन्द्रीय प्रायोजित योजनाओं के सभी प्रकार के बिलों, विवेकाधीन या छोटे अनुदान व छात्रवृत्ति बिलों, मजदूरी व वेतन के बिलों, जिन्हें 31 मार्च तक स्वीकार किया जाएगा, को छोडक़र कोई भी बिल वित्त वर्ष के अंतिम कार्य दिवस पर ट्रेजरी द्वारा स्वीकार नहीं किया जाएगा। ट्रेजरी उस दिन केवल लम्बित बिलों का निपटान करेंगी। विशेष मामलों में वित्त विभाग (वेज एण्ड मीन्ज शाखा) से अनुमति लेना अनिवार्य होगा।
 एक सरकारी प्रवक्ता ने आज यहां यह जानकारी देते हुए बताया कि मार्च महीने में ट्रेजरी में पुनर्विनियोजन और फण्ड डाइवर्शन करने और बिल जमा करने के सम्बन्ध में निर्देश जारी किये गए हैं, जिनके अनुसार टीए, एलटीसी, बकाया व सहायता अनुदान से सम्बन्धित बिल खजाना अधिकारियों द्वारा 24 मार्च के बाद स्वीकार नहीं जाएंगे। इसलिये ऐसे बिलों को 24 मार्च को या इससे पूर्व ट्रेजरी में प्रस्तुत किया जाएगा। यदि 24 मार्च तक जमा किया गया कोई बिल कुछ आपत्तियों के साथ लेखा अधिकारी द्वारा रद्द किया जाता है तो ऐसी स्थिति में उस बिल को आपत्ति दूर करने और ऑनलाइन बजट की उपलब्धता सुनिश्चित होने के उपरांत 31 मार्च तक पुन: जमा किया जा सकता है।
28 मार्च के बाद मैडिकल, टीए और जीपीएफ के सिवाय दूसरे अग्रिम बिलों को स्वीकार नहीं किया जाएगा। ऐसे अग्रिमों से सम्बन्धित विस्तृत कंटीजेंसी बिल को एक महीने के भीतर या 25 मार्च, जो भी पहले हो, तक ट्रेजरी में जमा किया जाएगा। यदि अग्रिम की राशि एक करोड़ रुपये से अधिक होने की स्थिति में ऐसे बिलों को केवल 23 फरवरी तक स्वीकार किया जाएगा और ऐसे अग्रिमों से सम्बन्धित विस्तृत कंटीजेंसी बिलों को एक महीने के भीतर या 20 मार्च, जो भी पहले हो, तक खजाने में जमा किया जाएगा। अनुपयुक्त राशि को वित्त वर्ष के अंतिम दिवस तक विभाग के प्रासंगिक प्राप्ति हैड में राज्य ट्रेजरी में वापस जमा किया जाएगा।
उन्होंने कहा कि वित्त विभाग 28 फरवरी के बाद पुनर्विनियोजन या डाइवर्शन के किसी भी अनुरोध को स्वीकार नहीं करेगा और डाइवर्शन से सम्बन्धित सभी मामलों से वित्त विभाग की विभिन्न शाखाओं द्वारा निपटा जाएगा ताकि 10 मार्च तक ऑनलाइन बजट डाटा उपलब्ध हो सके।
    उन्होंने कहा कि कर्मचारी पेंशन योजना (ईपीएस) वेतन आदेश ट्रेजरी द्वारा वित्त वर्ष के अंतिम कार्य दिवस पर एक बजे तक किये जाएंगे और सम्बन्धित आहरण एवं वितरण अधिकारियों (डीडीओ) द्वारा सायं 2.30 बजे तक एकत्रित किये जाएंगे ताकि इन्हें सायं 3 बजे तक ट्रेजरी बैंक में प्रस्तुत किया जा सके। ईपीएस पे ऑर्डर बैंक में जमा करने की किसी भी देरी के लिये डीडीओ उत्तरदायी होंगे।

Suvash Chandra Choudhary

Editor-in-Chief

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