आखिर मुलायम का दर्द क्यों छलक आया ?

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“अखिलेश ने उनका अपमान किया”

“कांग्रेस ने मेरे जीवन को बर्बाद करने की कोशिश की “

लखनऊ: आखिर मुलायम का दर्द छलक आया ! समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता मुलायम सिंह यादव ने रविवार को मैनपुरी में साफ़ कहा कि सपा के उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में खराब प्रदर्शन के लिए कांग्रेस के साथ गठबंधन का निर्णय जिम्मेदार है.  मुलायम ने आरोप लगाया कि कांग्रेस ने उनके जीवन को बर्बाद करने में कोई कमी नहीं रखी थी और उनके बेटे अखिलेश ने कांग्रेस से ही गठजोड़ कर लिया. उन्होंने तो यहाँ तक कह दिया कि अखिलेश ने उनका अपमान किया और जनता ने इसे बर्दाश्त नहीं किया.  

 

उन्होंने कहा कि सपा को मजबूत करने के प्रयास होने चाहिए. संवाददाताओं के सवाल पर उनका कहना था कि कांग्रेस के साथ गठबंधन करना ही पार्टी की मौजूदा स्थिति के लिए जिम्मेदार है. सपा नेता ने खुलासा किया कि उन्होंने अपने पुत्र व तत्कालीन सीएम अखिलेश को सलाह दी थी कि वह ऐसा ना करे लेकिन उसने किया. उनका इशारा स्पष्ट था सपा अपनी हार के लिए खुद जिम्मेदार है ना कि प्रदेश की जनता.

उल्लेखनीय है कि मुलायम पहले भी हार के लिए अप्रत्यक्ष रूप से अखिलेश को जिम्मेदार ठहरा चुके हैं लेकिन आज उनका दर्द पूरी तरह छलक आया. उन्होंने कहा कि उनके बेटे ने उनका अपमान किया. उनका ट्रक था कि मतदाताओं ने महसूस किया कि जो अपने पिता का नहीं है वह किसी और का विश्वासपात्र नहीं हो सकता.

दूसरी तरफ समाजवादी धर्मनिरपेक्ष मोर्चा का नेतृत्व मुलायम सिंह यादव द्वारा करने का ऐलान करने वाले उनके भाई व सपा नेता शिवपाल सिंह यादव ने भी आज ट्वीट कर कहा है कि जहां मुलायम खड़े हो जाते हैं, वहीं से समाजवादी पार्टी की शुरुआत होती है.

 

गौरतलब है कि मोर्चा बनाने की शिवपाल की कोशिश को मुलायम परिवार में शिवपाल के नेतृत्व वाले गुट को पार्टी में पुन:स्थापित करने के प्रयास के तौर पर देखा जा रहा है. एक तरफ शिवपाल चाहते हैं कि मुलायम पार्टी के मुखिया फिर से बनें जबकि मुलायम चाहते हैं कि शिवपाल को भी सपा में महत्वपूर्ण जगह मिले. वर्तमान में सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव हैं. विधानसभा चुनाव में सपा के खराब प्रदर्शन के बाद से ही शिवपाल मांग कर रहे हैं कि अखिलेश पद से हटें और पार्टी की बागडोर मुलायम के हाथ में दें. मुलायम ने ही 1992 में सपा का गठन किया था.

मिडिया में आई खबर में कहा गया है कि शिवपाल ने धमकी दी है कि यदि अखिलेश ने मुलायम को पार्टी की कमान नहीं सौंपी तो वह नए धर्म निरपेक्ष मोर्चा का गठन करेंगे.

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