बसई आर्य समाज मंदिर में अग्निहोत्र प्रशिक्षण केंद्र का वित्त मंत्री ने किया शुभारंभ
वर्ष पर्यंत चलने वाले इस अग्निहोत्र का आयोजन गुजरात के बाद गुरूग्राम में
प्रतिदिन सूर्य उदय से लेकर सूर्य अस्त तक हवन यज्ञ किया जाएगा
गुरूग्राम 1 अक्टूबर : हरियाणा के वित्त मंत्री कैप्टन अभिमन्यु ने कहा कि दुनिया में मौजूदा तनाव से छुटकारा दिलाने का केवल एक ही मार्ग है और वह है भारत के वेदों का मार्ग . उस पर चलकर विश्व में तमाम तरह के तनाव व सभी प्रकार की समस्याओं से छुटकारा मिल सकता है ।
वित्त मंत्री आज गुरुग्राम जिला के गांव बसई के आर्य समाज मंदिर में अभूतपूर्व अग्निहोत्र प्रशिक्षण केंद्र के शुभारंभ अवसर पर बतौर मुख्य अतिथि बोल रहे थे । इस अभूतपूर्व अग्निहोत्र अर्थात हवन यज्ञ का आयोजन सर्व कल्याण धर्मार्थ न्यास पानीपत के तत्वावधान में किया जा रहा है । वर्ष पर्यंत चलने वाले इस अग्निहोत्र का आयोजन गुजरात के बाद भारत वर्ष में गुरूग्राम में हो रहा है । यह हवन-यज्ञ आज से शुरु होकर अगले वर्ष 30 सितंबर को संपन्न होगा । इसमें प्रतिदिन सूर्य उदय से लेकर सूर्य अस्त तक हवन यज्ञ किया जाएगा और आयोजकों का कहना है कि युवाओं को वैदिक पद्धति से ठीक प्रकार से हवन यज्ञ करने का प्रशिक्षण भी दिया जाएगा । इस हवन यज्ञ का उद्देश्य गुरूग्राम में पर्यावरण प्रदूषण निराकरण एवं आत्म कल्याणार्थ रखा गया है । हवन यज्ञ में हरियाणा प्रांत के विभिन्न हिस्सों से आर्य समाज के अनुयाई भाग ले रहे है । कैप्टन अभिमन्यु ने भी आज शुभारंभ अवसर पर हवन यज्ञ के हवन कुंड में मंत्र उच्चारण के बीच आहुति डाली ।
अपने संबोधन में कैप्टन अभिमन्यु ने कहा कि यज्ञ करना सबसे श्रेष्ठ कर्म है और वे बाल्यवस्था से ही यज्ञ करते आ रहे है । उन्होंने कहा कि वे अपने अनुभव के आधार पर कह सकते हैं कि यज्ञ के मार्ग पर चलकर जीवन में सफलता प्राप्त की जा सकती है ।
कैप्टन अभिमन्यु ने कहा कि हमारे वेदों में ज्ञान का भंडार है और एक-एक वेद मंत्र के क्या क्या भाव सकते हैं , उन पर अनुसंधान करने की जरूरत है ।उन्होंने कहा कि हम सभी यह संकल्प ले की दुनिया में भारतवर्ष का जो योगदान होना चाहिए वह हम देने में मदद करेंगे । अभी वेदो पर बहुत अनुसंधान करना बाकी है । वेदों के बल पर भारत फिर से विश्व गुरु बन सकता है ।
उन्होंने कहा कि अभी तो भारत वर्ष ने योग और आयुर्वेद का ज़रा सा अंश दुनिया को दिखाया है । इसके अध्याय अभी आने बाकी है ।योग अभी दुनिया में चरम पर है परंतु इसे हम और उत्कर्ष तक पहुंचा सकते हैं । उन्होंने कहा कि भारतीय आयुर्वेद में बहुत ताकत है जो स्वामी रामदेव ने कर दिखाया है । यज्ञ की व्याख्या करते हुए कैप्टन अभिमन्यु ने कहा कि यज्ञ केवल कर्मकांड तक सीमित ना रहे बल्कि उनके हिसाब से यज्ञ कुछ प्राप्त करने के लिए नहीं अपितु कुछ देने के लिए होता है । उन्होंने कहा कि हवन यज्ञ के आयोजक दान से आवश्यक धनराशि इकट्ठा तो कर लेंगे और जो उनकी जिम्मेदारी लगाई जाएगी वह भी वे पूरी करने को तैयार हैं परंतु उनका मानना है कि आयोजक गांव बसई तथा आसपास के क्षेत्र में भी लोगों में देने का भाव यदि जाग्रत कर पाएं तो वास्तव में यह यज्ञ सफल होगा । उन्होंने कहा कि आयोजकों को चाहिए कि वे ज्यादा से ज्यादा लोगों को इस हवन-यज्ञ के साथ जोडे ।
इस मौके पर पटौदी हरि मंदिर आश्रम के महामंडलेश्वर स्वामी धर्मदेव जी महाराज ने अपने विचार रखते हुए कहा कि वे अपने जीवन काल में पहली बार देख रहे हैं कि 1 वर्ष तक लगातार सुबह से शाम तक हवन यज्ञ का आयोजन किया जाएगा । उन्होंने कहा कि 1 महीने तक की अवधि का हवन यज्ञ वह भी अपने पटौदी आश्रम में करते हैं । स्वामी धर्मदेव ने यह भी कहा कि आर्यव्रत का बहुत बड़ा क्षेत्र था जिसका भारत एक भाग था ।उन्होंने कहा कि हवन यज्ञ हमारे यहां प्रतिदिन होते थे और ऋषियो की सोच पूर्ण रूप से वैज्ञानिक रही, यह प्रमाणित हो चुका है । उन्होंने कहा कि आज पूरा विश्व पर्यावरण प्रदूषण के बारे में चिंतित है लेकिन पर्यावरण के अलावा विचारों का प्रदूषण भी हमारे समाज में आ गया है जो सबसे खतरनाक है । विचार का शुद्धिकरण हवन यज्ञ से ही हो सकता है । उन्होंने कहा कि हवन कुंड में 10 ग्राम देसी घी की आहुति डालने से 1 टन वायु शुद्ध होती है , यह विज्ञान के द्वारा प्रमाणित हो चुका है ।
इस अवसर पर समाज सेवी चौधरी शिवपाल चौधरी , हरिद्वार से आई माता सूकीर्ति , स्वामी दयानंद गिरी भिवानी ने भी अपने विचार रखे । शुभारंभ अवसर पर भिवानी-महेंद्रगढ़ के भाजपा सांसद धर्मवीर भी आए थे । उनके अलावा गुजरात से विशेष रूप से पधारे आचार्य ज्ञानेश्वर , श्रीमती अंजू सुधीर मुंजाल , शिव कृष्ण आर्य रोहतक , तिलक राज शर्मा , संजय आर्य , सुरेंद्र तोमर , दलजीत सिंह , हरिश्चंद्र प्रधान , रामचंद्र आर्य गुरुग्राम , कन्हैया लाल गर्ग , कपूर सिंह सहरावत , मास्टर शेर सिंह , वेद पाल आर्य आदि कई विशिष्ट व्यक्ति उपस्थित थे ।