नई दिल्ली ; भारतीय नौसेना कमांडर सम्मेलन 2023 के द्वितीय संस्करण का आयोजन 04 से 06 सितम्बर, 2023 तक नई दिल्ली में किया जा रहा है। इस शीर्ष-स्तरीय सम्मेलन का आयोजन साल में दो बार किया जाता है जिसमें नौसेना कमांडरों के बीच महत्वपूर्ण नीतिगत निर्णयों पर विचार-विमर्श और इनके निर्धारण के लिए बातचीत की जाती है। इस तीन दिवसीय सम्मेलन के दौरान नौसेना प्रमुख की अध्यक्षता में, भारतीय नौसेना के वरिष्ठ नेतृत्व द्वारा पिछले छह महीनों के दौरान किए गए प्रमुख परिचालन, सामग्री, रसद, मानव संसाधन, प्रशिक्षण और प्रशासनिक कार्यों की समीक्षा की जाएगी। इस सम्मेलन में आगामी महीनों में उठाए जाने वाली पहलों पर भी विचार-विमर्श किया जाएगा।
सम्मेलन के दौरान, माननीय रक्षा राज्य मंत्री, नौसेना कमांडरों को संबोधित करेंगे और इस अवसर पर चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ भी उपस्थित रहेंगे। यह सम्मेलन देश के समग्र आर्थिक विकास के लिए आवश्यक सुरक्षित समुद्री वातावरण के विकास की दिशा में कई अंतर-मंत्रालयी पहलों को आगे बढ़ाने के लिए वरिष्ठ सरकारी अधिकारियों के साथ नौसेना कमांडरों की संस्थागत बातचीत का अवसर भी प्रदान करता है।
इस आयोजित सम्मेलन और एनएसए, भारतीय सेना व भारतीय वायु सेना के प्रमुखों के साथ अंतर्निहित बातचीत का उपयोग परिचालन वातावरण का विश्लेषण करने, तीनों सेनाओं के बीच तालमेल के मुद्दे पर विचार-विमर्श करने और समुद्री बलों की तैयारी का आकलन करने के लिए भी किया जाएगा।
पिछले छह महीनों में भारतीय नौसेना के संचालन में गहन परिचालन का विस्तार अटलांटिक महासागर से प्रशांत महासागर तक देखा गया है। भारतीय नौसेना के जहाज, चक्रवात मोचा के बाद ‘ऑपरेशन करुणा‘ के हिस्से के रूप में ‘ऑपरेशन कावेरी‘ और म्यांमार में मानवीय सहायता और आपदा राहत (एचएडीआर) के हिस्से के रूप में सूडान से भारतीय नागरिकों को निकालने के लिए सबसे पहले उत्तर देने वाले थे। क्षेत्र में किसी भी संकट के लिए भारतीय नौसेना के पसंदीदा सुरक्षा भागीदार और सबसे पहले प्रतिक्रिया देने की अपेक्षाओं को ध्यान में रखते हुए, यह आयोजन नौसेना प्लेटफार्मों के हथियारों/सेंसर के प्रदर्शन पर विशेष ध्यान देने के साथ नौसेना की परिचालन तत्परता की विस्तृत समीक्षा करेगा।
इस आयोजन में नौसेना कमांडर 2047 तक पूर्णत: ‘आत्मनिर्भरता’ प्राप्त करने के दृष्टिकोण के साथ सामंजस्य करते हुए ‘मेक इन इंडिया’ के माध्यम से स्वदेशीकरण को बढ़ावा देने पर ध्यान केंद्रित करने के साथ चल रही नौसेना परियोजनाओं की भी समीक्षा करेंगे। सम्मेलन के अवसर पर भारतीय नौसेना द्वारा स्वदेशीकरण, नवाचार और तकनीकी पहलों का एक प्रदर्शन करने की भी योजना है। जीवन की गुणवत्ता बढ़ाने की दिशा में विभिन्न मानव संसाधन पहलों के साथ-साथ भारतीय नौसेना में पुरानी अप्रचलित पद्धतियों की पहचान करने और उन्हें हटाने की दिशा में हुई प्रगति की समीक्षा की जाएगी।