चेन्नई : खबर है कि तमिलनाडु राज्य में डीएमके सरकार ने खून से बनी पेंटिंग पर प्रतिबंध लगा दिया है। राज्य में ‘ब्लड आर्ट’ का चलन तेजी बढ़ने लगा था। सरकार ने लोगों की स्वास्थ्य सुरक्षा के मद्देनजर यह फैसला लिया है। हालांकि सामान्य व्यक्ति को खून निकालने की अनुमति नहीं होती है फिर भी यह चलन तमिलनाडु में जोरों पर था। इसके माध्यम से लोग अपने खून से पेंटिंग बनवाने लगे थे और अपने करीबी रिश्तेदारों या फिर प्रेमी और प्रेमिका को गिफ्ट करने लगे थे
बताया जाता है कि गत 28 दिसंबर को तमिलनाडु के हेल्थ मिनिस्टर एमए सुब्रमण्यम चेन्नई में अचानक खून से पेटिंग बनाने वाले एक स्टूडियो में पहुंचे। यहां पर पेंटिंग के लिए रखे गए कई ब्लड की शीशियों और नीडिल्स को देखकर वह हैरान रह गए। उसी वक्त मंत्री ने खून से पेटिंग बनाने वाले स्टूडियो पर बैन लगाने का ऐलान कर दिया।
मंत्री सुब्रमण्यम ने कहा कि कोई व्यक्ति या संस्था खून से पेंटिंग बनाते पाए जाते हैं तो उसके खिलाफ आपराधिक कार्रवाई की जाएगी। सुब्रमण्यम ने कहा कि ब्लड आर्ट दण्डनीय है। ब्लड डोनेशन एक पवित्र कार्य है। ऐसे उद्देश्यों के लिए खून निकालना मंजूर नहीं है। उन्होंने कहा कि प्यार और स्नेह दिखाने के कई और तरीके हैं। इसमें ब्लड आर्ट को शामिल नहीं किया जाना चाहिए।
जांच के दौरान पता चला कि स्टूडियो में ब्लड लेने की प्रक्रिया भी तय प्रोटोकॉल के अनुसार नहीं थी। यहां एक ही नीडिल यानी सुई कई लोगों का ब्लड निकालने के लिए उपयोग में लाई जा रही थी। इससे आम लोगों में इंफेक्शन फैलने का बड़ा खतरा था। इस कारण तमिलनाडु सरकार ने इस कथित आर्ट पर प्रतिबंध लगाने का ऐलान कर दिया।
इससे कई तरह की बीमारी फैलने की आशंका रहती है। खास तौर से हेपेटाइटिस बी, हेपेटाइटिस सी और एड्स से संक्रमित होने की प्रबल आशंका रहती है।