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: डीसी ने मामले की जांच सीटीएम को सौंप कर मांगी रिपोर्ट
: मांडीखेडा के अल-आफिया अस्पताल में प्रदर्शन करने हटाऐ कर्मचारी
यूनुस अलवी
मेवात : सरकार द्वारा करीब चार महिना पहले स्वाथ्य विभाग में लगाए 127 हैल्थ सैनीटेरी इंस्पेक्टर (एचएसआई) को बिना किसी नोटिस के हटाने से कर्मचारियों में सरकार और स्वास्थ्य विभाग के खिलाफ भारी नाराजगी है। बृहस्पतिवार को हटाऐ गऐ कर्मचारियों ने स्वास्थ्य विभाग के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। कर्मचारियों का कहना है कि अगर उनको नोकरी पर नहीं लगाया तो मजबूर होकर उनको कोर्ट का दरवाजा खटखटाना पडेगा। वहीं कर्मचारियों की शिकायत पर डीसी ने मामले की जांच सीटीएम को सौंप कर रिपोर्ट मांगी है।
हैल्थ सैनीटेरी इंस्पेक्टर (एचएसआई) के कर्मचारी लियाकत, आरिफ, इजहार और दिनेश ने बताया कि उन्होने हैल्थ सैनीटेरी इंस्पेक्टर ट्रेड से आईटीआई की है। आईटीआई के बाद एचएसआई का डिपोमा लेने के लिए एक साल की स्वास्थ्य विभाग के अंदर ट्रेनिंग लेनी पडती है। मेवात में एचएसआई के खाली पडे 242 पदों को भरने के लिए सरकार ने करीब 6 महिने पहले कर्मचारियों की भर्ती के लिए ऑन लाईन आवेदन मांगे थे। नूंह जिला में मात्र 127 ही एचएसआई पास युवकों ने आवेदन किया था। उसके बाद स्वास्थ्य विभाग से ऑनलाईन ही 8694 रूपये प्रतिमाह एक साल के लिए 28 फरवरी 2018 से 27 फरवरी 2019 तक का ऐग्रीमेंट हुआ था।
कर्मचारियों का कहना है कि सभी 127 ने फरवरी में ज्वाईन कर लिया और करीब दो महिने उन्होने लगन और मेहनत से गांव-गांव जाकर टीकारण, मलेरिया के लिए काम किया। उन्होने बताया कि उनको अभी तक ढाई महिने का वेतन भी नहीं दिया गया और उनको 31 मार्च 2018 को बिना कोई नोटिस दिए हटा दिया गया है। उनको क्यों और किस आदेश से हटाया गया इस बारे में कोई उन्होने डीसी, सीटीएम और सीएमओ आदि अधिकारियों से गुहार लगाई है। उनकी समस्या का समाधान करने की बजाए अधिकारी एक दूसरे के पास भेजकर खानापूर्ति कर रहे हैं। कर्मचारियों का कहना है कि अगर उनको जल्द ही नोकरी पर नहीं लगाया गया तो मजबूर होकर उनको धरना पर बेठना पडेगा और जरूरत पडी तो अदालत का दरवाजा भी खटखटाना पडेगा।
क्या कहते हैं डीसी
नूंह जिला के डीसी अशोक शर्मा ने बताया कि अपनी मांगों को लेकर एचएसआई कर्मचारी मिले हैं। सारे मामले की जांच सीटीएम को सौंपकर रिपोर्ट मांगी है। अगर कर्मचारियों को गलत तरीके से हटाया पाया गया तो स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाऐगी।