गुरुग्राम ज़िला की सभी अदालतों में एक जुलाई से अर्जेंट मैटर सहित सभी विवादों की सुनवाई होगी शूरू

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गुरुग्राम के डिस्ट्रिक्ट एवं सेशन जज सूर्य प्रताप सिंह का नया आदेश जारी

विचाराधीन कैदियों को अभी भी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से ही कोर्ट में पेश किया जाएगा

वकीलों को अपने मामले की पैरवी या बहस वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से भी करने की मिलेगी अनुमति

सुभाष चौधरी

गुरुग्राम : गुरुग्राम जिला में कोरोना संक्रमण की रफ़्तार कम होने के मद्देनज़र जिला अदालत गुरुग्राम की कार्यवाही को भी एक जुलाई 2021 से नए सिरे से व्यवस्थित करने का आदेश जारी किया गया है। गुरुग्राम के डिस्ट्रिक्ट एवं सेशन जज सूर्य प्रताप सिंह ने ज़िला में पिछले माह की तुलना में संक्रमित मरीज़ों की संख्या कम होने के कारण अगले आदेश तक के लिए कुछ मामले को छोड़ कर अर्जेंट मैटर सहित सभी मामले की सुनवाई शूरू करने का आदेश जारी किया है। हालाँकि गुरुग्राम जिला अदालत में विचाराधीन कैदियों को अभी भी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से ही कोर्ट में पेश किया जाएगा । अगर व्यक्तिगत रूप से ऐसे विचाराधीन कैदियों को कोर्ट में पेश करने की आवश्यकता पड़ेगी तो संबंधित कोर्ट की ओर से अलग से आदेश जारी किया जाएगा। डिस्ट्रिक्ट लेबर लॉ एडवाइजर एसोसिएशन के अध्यक्ष एडवोकेट आर एल शर्मा ने डिस्ट्रिक्ट एवं सेशन जज गुरुग्राम की ओर से जारी नए आदेश का स्वागत किया है. उन्होंने कहा कि ज़िला में कोरोना संक्रमण लगभग नियंत्रित है। संक्रमित रोगियों की संख्या भी अपेक्षाकृत काफ़ी कम हो गई है। जनहित को देखते हुए अदलतों की कार्यवाही को शूरू करना जरूरी था. वर्तमान परिस्थिति में डिस्ट्रिक्ट एवं सेशन जज की ओर से जारी नया आदेश लोगों को राहत प्रदान करने वाला है। हमें कोर्ट प्रशासन का पूरा सहयोग करना चाहिए।

डिस्ट्रिक्ट एवं सेशन जज ने अपने अप्रेल और मई माह में जारी आदेश में  संशोधन किया है।  आज जारी आदेश में यह भी कहा गया है कि ऐसे मामले जिनमें एविडेंस रिकार्ड किए जाने हैं या आरोपी बेल पर है को छोड़ कर सभी मामले की सुनवाई क़ानून के अनुसार शुरू की जाएगी। इसमें समय समय पर सम्बंधित अधिकारियों द्वारा जारी आदेश लागू किए जाएँगे। यह नयी व्यवस्था एक जुलाई गुरुवार से लागू होगी जो अगले आदेश तक जारी रहेगी।

आदेश में जिले के सभी वकीलों को जिला अदालत में कामकाज के दौरान केंद्रीय गृह मंत्रालय द्वारा जारी गाइडलाइन का पूर्णतया पालन करने को कहा गया है. खासकर सोशल डिस्टेंस मेंटेन करने और मास्क का उपयोग करने पर बल दिया गया है. वकीलों से अदालतों में उपस्थित होने के दौरान अनावश्यक भीड़ बढ़ाने से भी परहेज करने को कहा गया है. उन्हें आवश्यकतानुसार केवल एक असिस्टेंट या क्लर्क या फिर जूनियर वकील को साथ रखने की सलाह दी गई है।

डिस्ट्रिक्ट एवं सेशन जज ने अपने आदेश में स्पष्ट किया है कि वादी या प्रतिवादी अपने वकीलों के साथ नहीं आएंगे तब तक जब तक की उनकी व्यक्तिगत उपस्थिति कोर्ट के द्वारा आवश्यक ना समझा जाए।

अदालत में उपस्थित होने वाले सभी व्यक्तियों को मास्क और हैंड सैनिटाइजर का उपयोग अत्यावश्यक बताया गया है।

उक्त आदेश में यह भी साफ कर दिया गया है कि कोविड-19 संक्रमण की रोकथाम के मद्देनजर केंद्र सरकार या फिर राज्य सरकारों की ओर से समय-समय पर जारी होने वाले आदेश और उच्च न्यायालय द्वारा 8 फरवरी 2021 को जारी आधिकारिक आदेश भी प्रभावी रहेंगे।

डिस्ट्रिक्ट एवं सेशन जज के नए आदेश के अनुसार अभी भी केवल 50% कर्मी ही अदालत में उपस्थित होकर काम करेंगे जबकि बाकी 50% कर्मी अपने घर से ही अदालतों के कामकाज में आवश्यकतानुसार सहयोग करेंगे. उन्हें सम्बंधित न्यायालय के आदेशानुसार उपस्थित होने को कहा गया है।

नए मामले कोर्ट में दायर करने का समय प्रति कार्य दिवस को अब दोपहर 2:00 बजे तक का निर्धारित किया गया है।

किसी भी आरोपी की पहली रिमांड के लिए पेशी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग या फिर दूसरे ऑनलाइन डिजिटल मोड से संबंधित पुलिस स्टेशन के द्वारा कराई जाएगी। संबंधित पुलिस अधिकारी अदालत के सामने मामले से संबंधित कागजात कोर्ट के सामने डिजिटल माध्यम से ही प्रस्तुत करेंगे।

अदालत में प्रवेश करने वाले प्रत्येक व्यक्ति का बॉडी टेंपरेचर चेक किया जाएगा। केवल सामान्य तापमान वाले व्यक्ति को ही अदालत परिसर में प्रवेश की अनुमति होगी।

जिला प्रशासन को गुरुग्राम जिला अदालत सोहना और पटौदी अदालत के प्रवेश स्थल पर सैनिटाइजेशन मशीन की व्यवस्था सुनिश्चित करने को कहा गया है .

अदालत परिसर में चलने वाली कैंटीन और अन्य खाद्य वस्तुओं से संबंधित स्टाल 50 प्रतिशत क्षमता के साथ रोटेशन में चलेंगे।

बार एसोसिएशन गुरुग्राम की ओर से सभी कोर्ट की गेट पर स्वयंसेवी तैनात किए जाएंगे जो अदालतों में वकीलों के प्रवेश की व्यवस्था को नियंत्रित करेंगे जिससे कोर्ट रूम में अनावश्यक भीड़ बढ़ने से रोका जा सके।

डिस्ट्रिक्ट एवं सेशन जज के नए आदेश में यह स्पष्ट किया गया है कि अगर कोई वकील या संबंधित पक्ष अपने मामले की पैरवी या बहस वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से करना चाहते हैं तो इसके लिए सेशन जज की कार्यालय में सम्बंधित व्यक्ति से संपर्क कर मोबाइल फ़ोन या फिर ईमेल के माध्यम से सूचित करना होगा ।

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