Font Size
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ डिजाइन (एनआईडी) एक्ट, 2014 के दायरे में चार संस्थानों-नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ डिजाइन, अमरावती/विजयवाड़ा, आंध्र प्रदेश; नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ डिजाइन, भोपाल, मध्य प्रदेश; नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ डिजाइन जोरहाट, असमऔर नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ डिजाइन, कुरूक्षेत्र, हरियाणा – को लाने और उन्हें नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ डिजाइन, अहमदाबाद की तरह इंस्टीट्यूशंस ऑफ नेशनल इम्पोर्टेंस (आईएनआई) यानी राष्ट्रीय महत्व के संस्थान घोषित करने के लिए एनआईडी एक्ट 2014 में संशोधन के लिए संसद में एक विधेयक लाने को मंजूरी दी है। इस अधिनियम के लिए प्रस्तावित संशोधनों में एनआईडी विजयवाड़ा का बदलकर एनआईडी अमरावती करना शामिल है। साथ ही, इस विधेयक में प्रिंसिपल डिजाइनर के पद को प्रोफेसर के समतुल्य करने का भी प्रस्ताव है।
देश के विभिन्न क्षेत्रों में नए नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ डिजाइन की स्थापना इंस्टीट्यूशंस ऑफ नेशनल इम्पोर्टेंस की तरह किए जाने से डिजाइन के क्षेत्र में अत्यधिक कुशल श्रमबल तैयार करने में मदद मिलेगी। इससे शिल्प, हथकरघा, ग्रामीण तकनीक, लघु, मझोले एवं बड़े उद्यमों के लिए स्थायी डिजाइन संसाधन उपलब्ध कराते हुए प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष तौर पर रोजगार के अवसर सृजित होंगे। साथ ही, इससे क्षमता, दक्षता एवं संस्थान निर्माण के लिए विभिन्न कार्यक्रमों को भी बल मिलेगा।