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: सुलभ इंटरनेश्रल के संस्थापक बोले धांदुका का भी रखा जाएगा ख़याल
यूनुस अलवी
पुन्हाना: पिछले एक सप्ताह से प्रिंट और इलोक्ट्रोनिक मीडिया की सुरखी बना रहा गाव धादूका की उम्मीदों पर आखरी छणों में पानी फिर गया। मरोडा गांव की जगह धांदूका गंाव का ही टं्रप के नाम पर नामकरण होना था। सूत्रों के अनुसार जिला मुख्यालय एंव नेश्रल हाईवे से करीब सात-आठ किलोमीटर दूर होने की वजह से दूसरे गांव पर विचार करना पडा। गत 18 जून को ही गांव मरोडा में सुलभ इंटरनेश्रल संस्था के संस्थापक बिंद्रेश्वर ने दौरा किया था और उन्होने गांव के सरपंच खुरशीद से उनके गांव को गोद लेने को कहा था। मरोडा गांव दिल्ली-अलवर रोड पर स्थित है तथा यह नूंह जिला मुख्यालय से मांत्र तीन किलोमीटर दूर है।
सरपंच का सरपंच इस बात पर राजी हुआ कि मरोडा पंचायत में दो ओर गांव हैं उनको भी शामिल किया जाऐ। उसके बाद गांव छावा और निजामपुर को भी शामिल किया गया। गांव धांदूका निवासी अलताफ हुसैन का कहना है कि जब उन्होने मीडिया की माफर््त सुना की उनके गांव को अमरीका के राष्ट्रपति के नाम पर रख जा रहा है। पूरे गांव में खुशी का कोई ठिकाना नहीं रहा लेकिन जैसे ही उनके गांव की जगह मरोडा का नाम लिया गया उनकी सारी खुशी गम में बदल गई। उनका कहना है कि उनके गांव में बिजली, पीने का पानी, रास्ते स्कूलों में अध्यापक जैसी भारी कमी है। उनके गांव को गोद ले लिया जाता तो उनके गांव की हालत बदल सकती थी। लेकिन अब उनको ऐसा लग जैसो किसी ने ख्वाब में आकर ये बाते बताई हों। उन्होने सुलभ इंटरनेश्रल के संस्थापक से मांग की है कि उनके गांव में भी काफी समस्याऐं हैं उनका भी समाधान कराया जाऐ।
वहीं सुलभ इंटरनेश्रल संस्था के संस्थापक बिंद्रेश्वर से जब पत्रकारों ने इस बारे में पूछा तो वह धादूका की बात को हंस कर टाल गये लेकिन उन्होने विश्वास दिलाया कि धादूका भी उनका ही गांव हैं। उसमें उनकी संस्था पहले से ही काम कर रही है। गांव के अंदर जो समस्याऐं हैं उनका भी प्राथमिक्ता के आधार पर दूर किया जाऐगा।