” पेंशनर्स की हो सकती है बल्ले बल्ले “

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“समिति ने सौपी सातवें वेतन आयोग सम्बन्धी रिपोर्ट”

मंत्रिमंडल की बैठक में होगा विचार 

चण्डीगढ़ :  हरियाणा के पेंशनर्स के लिए सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों को लागू करने के लिए गठित की गई कमेटी ने आज राज्य सरकार को अपनी रिपोर्ट सौंप दी है।

हरियाणा के वित्त मंत्री कैप्टन अभिमन्यु ने आज यहां पत्रकारों द्वारा पूछे गए सवालों का जवाब देते हुए यह जानकारी दी। कैप्टन अभिमन्यु ने बताया कि प्रदेश के पेंशनर्स को भी सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों का लाभ देने के लिए हरियाणा सरकार ने वित्त विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव पी.राघवेंद्रा राव की अध्यक्षता में एक कमेटी का गठन किया था। इस कमेटी में श्री राव के अलावा वित्त विभाग की सचिव अमनीत पी. कुमार को कमेटी का सदस्य सचिव, तकनीकी शिक्षा विभाग के प्रधान सचिव श्री अनिल मलिक तथा हाऊसिंग विभाग के प्रधान सचिव श्री श्रीकांत वाल्गद को सदस्य के तौर पर शामिल किया गया था। उन्होंने बताया कि अधिकारियों की कमेटी ने वित्त मंत्री होने के नाते आज मुझे रिपोर्ट सौंपी है और सरकार इसकी समीक्षा करके इसे मंत्रिमण्डल में रखेगी क्योंकि मंत्रिमण्डल ही वो ऑथोरिटी है जो सिफारिशों पर विचार करके अंतिम निर्णय ले सकती है। 

कैप्टन अभिमन्यु ने कहा कि हरियाणा देश में ऐसा पहला राज्य है जिसने प्रदेश में सातवें वेतन आयोग को लागू किया है, इसके साथ ही सरकार जल्द ही पेंशन भोगियों को भी सातवें वेतन आयोग के आधार पर पेंशन देगी। हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल के नेतृत्व में सरकार निरंतर अपने कर्मचारियों के कल्याण के लिए कार्य कर रही है। कैप्टन अभिमन्यु ने कहा कि हरियाणा सरकार ने सातवें वेतन आयोग के लागू होने से खजाने पर पडऩे वाले भार को वहन करने के लिए बजट में प्रावधान कर लिया है और अब पेंशनभोगियों के लिए पेंशन का निर्णय होते ही उन्हें नई पेंशन और एरियर दे दिया जाएगा। 

कैप्टन अभिमन्यु ने एक अन्य प्रश्न के उत्तर में कहा कि मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल के नेतृत्व में प्रदेश विकास के क्षेत्र में आगे बढ़ रहा है। इसके साथ ही नागरिकों को मिलने वाली सुविधाओं को ऑनलाइन करने में आगे बढ़ा है। सरकार ने पारदर्शी, जवाबदेही व्यवस्था बनाने में महत्वपूर्ण निर्णय किये हैं। आज हरियाणा की तहसीलों में ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करना संभव हुआ है।

 

इसके साथ ही ई-स्टैम्पिंग की व्यवस्था की गई है। ई-स्टैम्पिंग के माध्यम से कोई भी व्यक्ति अपने घर बैठकर कम्प्यूटर से किसी भी सरकारी दस्तावेज के लिए ई-स्टैम्पिंग व्यवस्था के माध्यम से स्टाम्प प्राप्त कर सकता है। उन्होंने बताया कि प्रथम चरण के दौरान ई-स्टैम्पिंग व्यवस्था को पूरे हरियाणा, जिला मुख्यालयों में मार्च-अप्रैल, 2017 से लागू कर दिया जाएगा, जिसके लिए पूरा नेटवर्क तैयार कर लिया गया है। इससे आम नागरिकों को बेहतर सुविधा हासिल होगी और बिकने वाली स्टाम्प का ऑडिट करने में भी आसानी होगी। उन्होंने बताया कि इसके साथ ही नकली स्टाम्प किसी भी प्रकार से न निकले यह सुनिश्चित हो सकेगा। यह सुविधा नागरिकों के लिए लाभप्रद होगी।

 

एक प्रश्न के जवाब में कैप्टन अभिमन्यु ने बताया कि हमें कोई नहीं बता पाया कि आज आरक्षण के आंदोलन की क्या आवश्यकता है। हरियाणा के सभी 90 विधायकों ने पंथ, जात-पात व दलगत राजनीति से ऊपर ऊठकर हरियाणा के लोगों की भावनाओं के अनुरूप जाट समेत छ: जातियों के लिए प्रभावी कानून बनाकर आरक्षण देने का प्रावधान किया है। 

कैप्टन अभिमन्यु ने कहा कि मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल ने विश्वास दिलाया है कि पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय में आरक्षण से सम्बंधी लम्बित याचिका से स्टे हटते ही प्रदेश सरकार इस कानून को भारत सरकार की नौवीं सूची में शामिल करने के लिए पत्र लिखेगी। कैप्टन अभिमन्यु ने प्रश्न करते हुए कहा कि हिन्दुस्तान में किसी भी राज्य में किसी भी समाज को आरक्षण देने के लिए किसी भी सरकार द्वारा ऐसे प्रभावी कदम उठाएं गए हों, तो बताएं। उन्होंने कहा कि हरियाणा सरकार आरक्षण के सम्बंध में जहां-जहां जो भी कर सकती थी, वह सब किया और सभी संगठनों के साथ बातचीत भी की। उन्होंने कहा कि वास्तव में आरक्षण के लिए अगर कोई ईमानदारी से काम करना चाहता है तो हमारा उनसे निवेदन है कि आप न्यायालय में जो वकील खड़ा करेंगे, बड़े से बड़ा वकील लेकर आएं, उसकी फीस भी सरकार देने के लिए तैयार है।

 

उन्होंने कहा कि आम आदमी को परेशान करने के लिए राजनीतिक लोगों ने शरारतपूर्ण ढंग से उसमें अपनी शुमारिहत की है। क्योंकि उनके लिए कोई राजनीतिक मुद्दा नहीं बचा है। सवा दो साल के दौरान भी उनके पास कोई मुद्दा नहीं था कि जिसे वे ऊठाकर राजनीतिक लड़ाई लड़ सकें। इस प्रकार, यह समाज को बांटने की दूरनीति है। उन्होंने कहा कि कहीं-कहीं उत्तर प्रदेश के चुनाव को ध्यान में रखकर सीधे-सीधे धरना-प्रदर्शन से जुड़ें लोग राजनीतिक बात कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि यह जाट आरक्षण का विषय नहीं है। यह राजनीति से प्रेरित धरना-प्रदर्शन का कार्यक्रम है। कैप्टन अभिमन्यु ने लोगों से निवेदन किया है कि वे किसी के झांसे में न आए। 

कैप्टन अभिमन्यु ने राजनीतिक लोगों को चुनौती देते हुए कहा कि वे राजनीतिक चर्चा में कहीं पर आएं, उसके लिए हम आपका स्वागत करते हैं। लेकिन भोले-भाले नागरिकों के कंधे पर बंदूक रखकर अपनी राजनीतिक रोटियां न सेंके। हरियाणा की जनता आपको देख रही है। 

Suvash Chandra Choudhary

Editor-in-Chief

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