गुरुग्राम में कोरोना संक्रमण का डबलिंग रेट 37.65 जबकि मृत्यु दर 0.42 प्रतिशत : डी सी

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गुरूग्राम, 23 अप्रैल। गुरूग्राम जिला में कोविड संक्रमित मरीजों के ईलाज की व्यवस्था को और सुदृढ़ करने की दिशा में गुरूग्राम जिला प्रशासन निरंतर प्रयासरत है। उपायुक्त डा. यश गर्ग स्वयं सभी व्यवस्थाओं पर निगरानी रखे हुए हैं। उपायुक्त डा. गर्ग ने कहा कि जिला के हर नागरिक को स्वास्थ्य सुविधाएं समय पर मिले, इसके लिए जिला प्रशासन तथा स्वास्थ्य विभाग का अमला लगा हुआ है। इस दिशा में दिन-रात काम चल रहा है।

उन्होंने कहा कि बीमारी के कारण अकाल मृत्यु होना सभी के लिए दुखदायी होता है। जिला गुरूग्राम में कोविड की वजह से होने वाली मृत्यु के मामलों को कम करने की पुरजोर कोशिश चल रही है। प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग के लिए जिला के हर व्यक्ति की जान कीमती है और कोविड संक्रमण से होने वाली हर मृत्यु का विशलेषण किया जा रहा है। आंकड़े साझा करते हुए उपायुक्त ने बताया कि गुरूग्राम जिला में कोविड संक्रमण मरीजो के ठीक होने की रिक्वरी रेट 78.19 प्रतिशत है और इसकी वजह से अकाल मृत्यु का ग्रास बनने वाले मरीजो की मृत्यु दर 0.42 प्रतिशत है।

उन्होंने बताया कि जिला में कोरोना संक्रमण का डबलिंग रेट 37.65 है अर्थात् कोरोना के मरीजों की संख्या 37 दिनों से अधिक की अवधि में दोगुनी हो रही है। डा. गर्ग ने कहा कि कोरोना संक्रमण का प्रभाव कम करने के लिए जिला प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग तो लगा ही हुआ है लेकिन इसमें सबसे अहम भूमिका आमजन मानस की है। सभी कोरोना से बचाव के उपाय अपनाएं और स्वयं को तथा अपने मित्रो व परिचितों को इस महामारी का शिकार होने से बचाएं। इसमें सबसे जरूरी घर से बाहर निकलते ही फेसमास्क का प्रयोग करंे और केवल मास्क मुंह पर लगाना ही काफी नहीं है बल्कि इसे ठीक ढंग से पहने जिसमें मुंह और नाक दोनो कवर होने चाहिए। इसके अलावा, एक-दूसरे के बीच कम से कम दो गज की दूरी रखें और अपने हाथों को बार-बार साबुन से धोएं या सैनेटाइजर का प्रयोग करके सैनेटाइज करें। उन्हांेने सभी गुरूग्राम जिलावासियों से अपील की है कि इस संकट की घड़ी में सयंम से काम लें और घबराएं नहीं, ना ही हड़बड़ी मचाएं। 

उपायुक्त ने आज फिर जिलावासियों को आश्वस्त किया है कि जिला में आॅक्सीजन पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध है और जिला प्रशासन सभी अस्पतालों को तरल आॅक्सीजन उपलब्ध करवा रहा है। उन्हांेने बताया कि इस मामले में राज्य सरकार के वरिष्ठ अधिकारियों का भी सहयोग लिया जा रहा है। उन्होंने बताया कि जिला के सभी अस्पतालों मंे आॅक्सीजन की खपत तथा उपलब्धता का डाटा प्राप्त करके जिला की एक आॅक्सीजन प्लान तैयार की जा रही है ताकि जिला में आॅक्सीजन की कमी ना रहे और सभी को जरूरत अनुसार आॅक्सीजन की सप्लाई मिलती रहे। 

उन्होंने बताया कि जिला के गंभीर कोविड मरीजों की मदद के लिए गुरूग्राम जिला प्रशासन ने  covidggn.com   पोर्टल पर अस्पताल के बैड के लिए रजिस्टर करने की सुविधा शुरू की है। इस पोर्टल पर रजिस्टर होने वाले मरीजो की स्थिति के आधार पर उन्हें बैड दिलवाने के प्रयास किए जा रहे हैं ताकि जरूरतमंद मरीजो को समय पर ईलाज की सुविधा मिल सके।

डा. गर्ग ने कहा कि अस्पतालों मंे कोविड मरीजों के लिए बैड की संख्या बढाई गई है और जिला में रेमडेसिविर इंजेक्शन भी पर्याप्त संख्या मंे उपलब्ध हैं। उन्होंने कहा कि लोग घबराहटवश आॅक्सीजन के सिलेंडर तथा रेमडेसिविर इंजेक्शन खरीद कर रख रहे हैं जबकि बहुत से लोगों को इनकी जरूरत भी नही है। इस कारण से भी आॅक्सीजन या दवाओं की कमी हो सकती है। उपायुक्त ने कहा कि जिला के 17 हजार से ज्यादा मरीज होम आइसोलेशन में रह कर कोविड से मजबूती से लड़ रहे हैं। उन्होंने बताया कि जिला में हर रोज 12 हजार से ज्यादा लोगों के कोविड के टेस्ट किए जा रहे हैं और जिला के 4 लाख 37 हजार 271 लोगों को कोरोना से  बचाव के टीके लगाए जा चुके हैं। 

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