– प्रदेश को अपराध मुक्त बनाने तथा पुलिस की कार्यप्रणाली बेहतर बनाने को लेकर डीजीपी की अध्यक्षता में बैठक आयोजित
– फील्ड में ज्यादा समय बिताएं पुलिस अधीक्षक, पीसीआर ड्यूटी तथा नाकों की समय-समय पर समीक्षा करते रहें
चंडीगढ़ 5 मार्च। प्रदेश को अपराध मुक्त बनाने तथा पुलिस की कार्यप्रणाली को पहले से बेहतर बनाने के उद्देश्य से पुलिस महानिदेशक शत्रुजीत कपूर ने प्रदेश भर के वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों के साथ वीसी के माध्यम से बैठक की। इस बैठक में आपराधिक प्रवृत्ति के लोगों से निपटने तथा अपराध का सफाया करने को लेकर कई महत्वपूर्ण बिंदुओ पर विस्तार से चर्चा की गई। बैठक में जिन अधिकारियों ने अपराध नियंत्रण को लेकर अच्छा काम किया है, उन्होंने अपने विचार रखें तथा डीजीपी ने उन प्रैक्टिसिज को अन्य जिलों में लागू करने के बारे में आदेश दिए ।
बैठक की अध्यक्षता करते हुए श्री कपूर ने कहा कि पुलिस अधीक्षक वर्तमान में प्रदेश में लगी हुई मैनपावर का उपयोग अपराध नियंत्रण को लेकर प्रभावी तरीके से करें। सभी वरिष्ठ पुलिस अधिकारी अपने-अपने जिलों में संगीन अपराध जैसे-डकैती, लूटपाट, छीनाझपटी, फिरौती संबंधी मामलों में पुलिस द्वारा की गई कार्यवाही की स्वयं मॉनिटरिंग करें। इसके अलावा, वे ज्यादा से ज्यादा फील्ड में जाएं और अपने अधीनस्थ पुलिसकर्मियों के साथ सीधे संपर्क में रहे। उन्होंने कहा कि नाके व पीसीआर पुलिसिंग के लिए बहुत महत्वपूर्ण है अतः उनकी तैनाती पर ध्यान देने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि उच्च पुलिस अधिकारी का जितना ज्यादा संपर्क अपने पुलिसकर्मियों से होगा, काम की गुणवत्ता उतनी ही ज्यादा अच्छी होगी।
श्री कपूर ने एमपैथी अर्थात् संवेदना को सबसे अधिक महत्वपूर्ण बताया। उन्होंने कहा कि अधिकारी अपने पुलिसकर्मियों तथा आमजन के प्रति संवेदना रखें और उन्हें आ रही समस्याओं का समाधान करने का प्रयास करें। इसके साथ ही श्री कपूर ने कहा कि वे पेट्रोल पंप संचालकों, व्यापार मंडलों, आभूषण विके्रताओं तथा बैंक शाखा प्रबंधकों आदि के साथ नियमित तौर पर बैठक करते रहे। इससे लोगों का विश्वास हरियाणा पुलिस की ओर बढ़ेगा तथा भविष्य में कानून व्यवस्था बनाए रखने संबंधी चुनौतियों से निपटने में आसानी होगी। इसके अलावा, पुलिस अधीक्षक समय-समय पर शहर में लगाए गए विभिन्न स्थानों पर सीसीटीवी कैमरों की समीक्षा करते हुए यह सुनिश्चित करें कि वे चालू हालत में हों। उन्होंने कहा कि पुलिस अधीक्षक सीलिंग प्लान की समीक्षा करते हुए उसे प्रभावित तरीके से लागू करें।
पुलिस महानिदेशक ने कहा कि पुलिस अधीक्षक अपने-अपने अधिकार क्षेत्र में पड़ने वाले टोल प्लाजा पर भी पुलिसकर्मियों की ड्यूटी लगाना सुनिश्चित करें। वे अपराध नियंत्रण को लेकर अपने जिलों मे थानों व चैकियों में अच्छा काम करने वाले पुलिसकर्मियों का मनोबल बढ़ाते हुए उन्हें सम्मानित करें जबकि लापरवाही बरतने वाले पुलिसकर्मियों की जिम्मेदारी तय करें। उन्होंने कहा कि ऐसा करने से पुलिसकर्मियों का आत्मविश्वास बढ़ता है और अपराध को कम करने में सहायता मिलती है। श्री कपूर ने बैठक में बेल जंपर्स, प्रोक्लेमड ऑफेंडर तथा प्रोक्लेमड पर्सनस की समीक्षा करते हुए आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।
बैठक में श्री कपूर ने बताया कि गैंगस्टर द्वारा सोशल मीडिया पर डाले जाने वाले पोस्ट से प्रदेश केयुवाओं के मन मस्तिष्क पर उनकी गलत छवि बनती है और कई बार वे गलत आदतों का शिकार हो जाते हैं ऐसे में हरियाणा पुलिस ऐसे युवाओं पर कड़ी नजर रख रही है जो अपराधियों की पोस्ट को लाइक अथवा कमेंट करते हैं। ऐसे युवाओं व उनके अभिभावकों की काउंसलिंग की जा रही है ताकि वे समय रहते सावधान हो जाएं और अपराध से दूर रहें।
बैठक में पुलिस अधीक्षकों ने अपने-अपने जिलों में इस बारे में किए गए कार्यों की रिपोर्ट भी प्रस्तुत की। श्री कपूर ने कहा कि पुलिस अधीक्षकों के संज्ञान में जब भी कोई अपराध आए तो उसकी गहराई में जाकर काम करें और उसके इकोसिस्टम को खत्म करने का प्रयास करें। इससे पुलिस की कार्यप्रणाली बेहतर होगी और निश्चित तौर पर ही प्रदेश में अपराध को नियंत्रित करने में सहायता मिलेगी।