गुरूग्राम । नेशनल मिन्स कम मैरिट स्काॅलरशिप के लिए जिला के राजकीय विद्यालयों में परीक्षा 1 दिसंबर को होगी। इस परीक्षा में जिला के कक्षा 8वीं उत्तीर्ण कर चुके 2712 विद्यार्थी भाग लेंगे। इस परीक्षा में उत्तीर्ण होने वाले विद्यार्थियों को शिक्षा विभाग द्वारा 48 हजार रूपये की स्कालरशिप दी जाती है।
इस बारे में उपायुक्त अमित खत्री ने बताया कि इस योजना के तहत केवल वही विद्यार्थी भाग ले सकते हैं जिनकी सभी स्त्रोतों से वार्षिक आय डेढ़ लाख रूपये है। इस परीक्षा का मुख्य उद्देश्य गरीबी रेखा से नीचे जीवनयापन कर रहे गरीब परिवारों के बच्चों के भविष्य को सशक्त व उज्जवल बनाना है ताकि वे पढ़-लिखकर अपने परिवार के लिए आय के साधन जुटा सकें। योजना के बारे में विस्तार से जानकारी देते हुए श्री खत्री ने बताया कि इस परीक्षा में आठवीं कक्षा उत्तीर्ण कर चुके परीक्षार्थी भाग ले सकते है। इस परीक्षा की तैयारी के लिए जिला शिक्षा विभाग के पास बुकलेट भी पहुंच चुकी है जिसे राजकीय विद्यालयों में वितरित किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि इस परीक्षा में आठवीं कक्षा तक का सिलेबस आता है। इस परीक्षा में उत्तीर्ण विद्यार्थी को कक्षा 9वीं से लेकर 12वीं तक किश्तों में यह स्काॅलरशिप दी जाती है।
जिला शिक्षा अधिकारी इंदु बोकन ने बताया कि इस परीक्षा में उत्तीर्ण छात्रों को प्रत्येक माह एक हजार रूपये की राशि दी जाती है। इस स्कालरशिप योजना का लाभ लेने के लिए सामान्य वर्ग से संबंधित विद्यार्थी का कक्षा आठवीं व 9वीं में 55 प्रतिशत अंक तथा कक्षा 10वीं व 12वीं में 60 प्रतिशत तक अंक होने अनिवार्य है। इसी प्रकार, अनुसूचित व पिछड़ा जाति से संबंध रखने वाले विद्यार्थी के आठवीं व नौंवी कक्षा में 50 प्रतिशत अंक तथा 10वीं व 12वीं कक्षा में 55 प्रतिशत तक अंक होने अनिवार्य है। यदि विद्यार्थी का इस दौरान किसी विषय में फेल हो जाता है तो उसकी इस योजना के तहत पात्रता समाप्त हो जाएगी।
जिला शिक्षा अधिकारी ने बताया कि जिला के राजकीय विद्यालयों में शिक्षा के स्तर में सुधार लाने के लिए कई महत्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं परिणामस्वरूप गुरूग्राम जिला के स्कोरकार्ड में पिछले तीन महीनों में काफी सुधार आया है। उन्होंने बताया कि जिला में बच्चों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा देने के उद्देश्य से अध्यापकों के लिए समय समय पर प्रशिक्षण कार्यक्रम भी आयोजित करवाए जाते हैं। गुरूग्राम जिला के चारों ब्लाॅक सक्षम घोषित हो चुके हैं और अब गुरूग्राम जिला सक्षम प्लस होने की दिशा में तेजी से अग्रसर हैं।
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