नई पीढ़ी को सिंधी भाषा तथा संस्कृति को जानना आवश्यक : वासुदेव देवनानी 

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“मिठणी अबाणी बोली, सिंधी अबाणी बोली”

सिंधु भाषा एवं संस्कार शिविर के आयोजन में शिक्षा राज्य मंत्री 

 
जयपुर, 11 जून। शिक्षा राज्य मंत्री वासुदेव देवनानी ने रविवार को अजमेर के देहली गेट पर भारतीय सिंधु सभा के माध्यम से चल रहे सिंधु भाषा एवं संस्कार शिविर में बच्चों को सिंधी अबाणी बोली, मिठणी अबाणी बोली गीत गंवाकर सिंधी भाषा तथा संस्कृति पर गर्व करने का संदेश दिया। 
 
देवनानी ने अपने सम्बोधन में कहा कि नई पीढ़ी को सिंधी भाषा तथा संस्कृति को जानना आवश्यक है। सिंधीयत की पहचान को बनाए रखने के लिए आवश्यक है कि घर-परिवार तथा समाज में दैनिक बोलचाल सिंधी भाषा में ही की जाए। समाज और परिवार से मिले संस्काराें से ही व्यक्तित्व का निर्माण होता है। परम्परागत संस्कारों को नई पीढ़ी को प्रदान करने का उत्तरदायित्व समस्त अभिभावकों को निभाना चाहिए। घर में सिंधी वीरों, सन्तों तथा महापुरूषों के चित्रों का सम्मानपूर्वक रखने से बच्चों में पे्ररणा का संचार होता है। 
 
उन्होंने कहा कि सिंधी भाषा तथा संस्कारों को बढ़ावा देने के लिए गर्मी की छुट्टियों में भारतीय सिंधु सभा तथा स्थानीय संस्थाओं एवं व्यक्तियों के सहयोग से अजमेर में विभिन्न स्थानों पर शिविर आयोजित किए जा रहे है। अब तक एक हजार से अधिक विद्यार्थियों ने सिंधी भाषा तथा संस्कारों का आत्मसात किया है। इससे नई पीढ़ी में सिन्धीयत के प्रति सम्मान तथा गर्व का विकास होगा। बच्चों के संस्कारवान बनने से नया संस्कारित एवं उर्जादान राजस्थान और अजमेर का निर्माण होगा। 
 
इस अवसर पर प्रेमप्रकाश मन्दिर के स्वामी ब्रह्मनन्द शास्त्री, ओम शास्त्री, भारतीय सिंधु सभा के संगठन मंत्री श्री मोहन कोटवानी, संस्कार भारती के क्षेत्रीय अध्यक्ष श्री सुरेश बबलानी, मोहन तुल्सीयानी, जय किशन पारवानी उपस्थित थे।
 
देवनानी ने किया प्रसाद वितरण
शिक्षा राज्य मंत्री वासुदेव देवनानी ने देहली गेट पर प्रेम प्रकाश मन्दिर के तत्वावधान में आयोजित प्रसाद वितरण में ओम शास्त्री के साथ श्रृद्धालुओं को प्रसाद वितरण किया। 

Suvash Chandra Choudhary

Editor-in-Chief

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