-यह हकीकत में प्यार की जीत और नफरत फैलाने वालों की हार है
-कांग्रेस राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खडग़े, सोनिया गांधी, प्रियंका गांधी, राहुल गांधी को कर्नाटक में मिला भरपूर प्यार
गुरुग्राम। हरियाणा कांग्रेस के पूर्व प्रवक्ता अशोक बुवानीवाला ने केरल की जीत पर खुशी जाहिर करते हुए कहा कि धर्म की आड़ में नफरत की राजनीति करने वाली भारतीय जनता पार्टी को आईना दिखाने की शुरुआत कहीं ना कहीं से होनी ही थी। इसका श्रेय कर्नाटक की जनता को जाता है, जिसने नफरती राजनीति से किनारा करके बीजेपी को बाहर करके कांग्रेस को विजयश्री दी है।
उन्होंने कहा कि बजरंग बली ने कर्नाटक में सही निर्णय किया है। बजरंग बली के नाम पर बीजेपी द्वारा मांगे गए वोट कांग्रेस के पक्ष में ही गए हैं। भविष्य में राजस्थान, तेलंगाना, छत्तीसगढ़ और मध्यप्रदेश के चुनावों में भी कांग्रेस का परचम लहरेगा। अशोक बुवानीवाला ने कहा कि यह प्यार की जीत है और नफरत फैलाने वालों की हार है। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा का राजनीति में कोई असर नहीं होने की बात कहने वाली भाजपा के लिए केरल उदाहरण है। कर्नाटक के कांग्रेस के पक्ष में आए नतीजे भारत जोड़ो यात्रा का भी परिणाम हैं। उन्होंने कहा कि कांग्रेस को 138 सीटें मिली हैं तो बीजेपी केा मात्र 63 सीटें। बीजेपी दहाई का आंकड़ा भी पार नहीं कर पाई।
बुवानीवाला ने कहा कि लगता है लगता है बजरंग बली ने कर्नाटक में भाजपा को सीटें देते समय 40 प्रतिशत कमीशन काट लिया है। कर्नाटक चुनाव में पीएम नरेंद्र मोदी के चेहरे का भी इस्तेमाल किया गया। बीजेपी ने पूरी ताकत के साथ तमिलनाडु में चुनाव लड़ा। पूरा अमला लगा दिया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को सुपरस्टार बनाकर कर्नाटक भेजा गया। मोदी से लेकर अध्यक्ष जेपी नड्डा, गृह मंत्री अमित शाह समेत भाजपा के तमाम नेताओं ने कर्नाटक के चुनाव प्रचार में नफरती भाषणों की झड़ी लगा दी। कर्नाटक की जनता के दिलों में अपनी सोच के अनुसार बीजेपी ने कांग्रेस के प्रति नफरत पैदा करने का प्रयास किया। बीजेपी शायद यह भूल गई थी कि जब जनता की लाठी चलती है तो वह बिना आवाज किए बहुत बड़े फैसले कर देती है।
कर्नाटक की जनता को ठगने चली बीजेपी को बाहर का रास्ता जनता ने दिखा दिया। अशोक बुवानीवाला ने कहा कि हरियाणा से राज्यसभा सांसद दीपेंद्र सिंह हुड्डा ने भी कर्नाटक में जाकर चुनाव प्रचार किये। जहां-जहां वे गए, वहां पर पार्टी ने काफी बेहतर प्रदर्शन किया है। जीत दर्ज करके विरोधियों को बता दिया है कि धर्म और नफरत की राजनीति अब नहीं चलने वाली।