गृहमंत्री ने कहा कि सरकार बनने के कुछ ही समय के बाद प्रधानमंत्री जी की प्रेरणा से जन धन खाते खोले गए। उन्होने कहा कि बैंकिंग से सभी को जोड़ने का यह काम वित्तीय समावेशन की दिशा में महत्वपूर्ण है। उन्होने कहा कि डिजिटलीकरण से व्यवस्था में पारदर्शिता बढ़ी है और भ्रष्टाचार खत्म हुआ है। आईपीपीबी ग्रामीण स्तर पर डिजिटल लेनदेन को बढ़ावा देगा। गृहमंत्री ने कहा कि इसके लिए एक मोबाइल एप भी लाया गया है।
भारत को दुनिया की सबसे तेजी से विकास करती अर्थव्यवस्था बताते हुए गृहमंत्री ने कहा कि भारत की सकल घरेलू उत्पाद की दर 8.2 फीसद रही। उन्होने कहा कि 2014 में भारत की अर्थव्यवस्था दुनिया की 10 सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था में आठवें-नौवें स्थान पर था। आज यह छठे स्थान पर आ गया है। श्री सिंह ने कहा कि जहां भी नीतियों में हस्तक्षेप की आवश्यकता महसूस हुई है वहां सरकार ने हस्तक्षेप से संकोच नहीं किया। उन्होने कहा कि मोदी सरकार ने महत्वपूर्ण संस्थागत सुधार किए हैं। डाक घरों को आधुनिक तकनीकी से जोड़कर हाईटेक बनाना इसी कड़ी में एक अहम कदम है।
इससे पहले गृहमंत्री ने आईपीपीबी की लखनऊ शाखा का फीता काटकर और शिलापट्ट अनावरण कर शुभारंभ किया। गृहमंत्री ने पहले 5 खाताधारकों को क्यू॰आर॰ कार्ड देकर सम्मानित किया। डाक विभाग की ओर से इस अवसर पर आईपीपीबी पर फिल्में भी दिखाई गईं।
गौरतलब है कि आज ही प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने नई दिल्ली में बहुप्रतीक्षित महत्वाकांक्षी इंडिया पोस्ट पेमेंट्स बैंक सेवा का शुभारंभ किया। पूरे भारत में जहां 650 आईपीपीबी शाखाओं का उद्घाटन हुआ वहीं उत्तर प्रदेश में 73 शाखाओं और 292 सेवा केन्द्रों का शुभारंभ हुआ।
इससे पहले लखनऊ में ही एक अन्य कार्यक्रम में गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि उग्रवाद और नक्सलवाद को समाप्त करने की दिशा में सरकार को महत्वपूर्ण सफलता मिली है। उन्होने कहा कि कुछ लोग हिंसा को बढ़ावा दे रहे हैं और इसके लिए विचारधारा की आड़ ले रहे हैं, यह देश को तोड़ने का प्रयास है। उन्होने कहा कि सरकार हिंसा से कोई समझौता नहीं करेगी।