जयंत सिन्हा ने कहा, मंत्री बनने से पहले ही कम्पनी छोड़ दी थी
नई दिल्ली। पैराडाइज पेपर्स का असर भारतीय राजनीति पर दिखने लगा । जर्मनी के अखबार में नाम का खुलासा होने के बाद केंद्रीय विमानन राज्य मंत्री जयंत सिन्हा ने ट्वीट कर अपनी सफाई दी है। उन्होंने सोमवार सुबह यानी आज ट्वीट कर कहा है कि ये लेनदेन डी. लाइट कंपनी के लिए एक ओमिडीयार प्रतिनिधि के रूप में किए गए थे। केन्द्रीय मंत्री ने स्पष्ट किया है कि यह लेनदेन निजी उद्देश्य के लिए नहीं किया गया था। उन्होंने ट्वीट में दावा किया है कि केंद्रीय मंत्रिपरिषद में शामिल होने के समय तत्काल प्रभाव से इस कंपनी के बोर्ड से इस्तीफा देकर इसमें अपनी साझेदारी भी छोड़ दी थी।
उन्होंने यह भी कहा है कि ओमिडीयार कंपनी छोडऩे के बाद डी लाइट के बोर्ड में एक स्वतंत्र निदेशक के रूप में काम जारी रखने के लिए भी उन्हें कहा गया था।
उल्लेखनीय है की इंटरनेशनल कंसोर्टियम ऑफ इंवेस्टिगेटिव जर्नलिस्ट्स की ओर से 1.34 करोड़ दस्तावेजों की जांच में टैक्स चोरी और पैसों को एक देश से दूसरे देश भेजने के हजारों मामले पकड़े जाने का खुलासा हुआ है. इसमें किये गए खुलासे में विमानन राज्य मंत्री जयंत सिन्हा, सासंद रवींद्र किशोर सिन्हा, फिल्म अभिनेता अमिताभ बच्चन और संजय दत्त की पत्नी मान्यता दत्त समेत कई हस्तियों के नाम शामिल बताये जाते हैं।
सूचि में 714 भारतीयों के नाम शामिल हैं जबकि इस सूचि में दुनिया के 180 देशों के नाम हैं।