हरियाणा के व्यापारी नेताओं ने पीएम मोदी से गेंहू निर्यात पर प्रतिबंध लगाने के निर्णय पर पुनर्विचार करने की मांग की

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चरखी दादरी : हरियाणा व्यपार मण्डल के प्रदेशाध्यक्ष, भारतीय उधोग व्यपार मण्डल के राष्ट्रीय वरिष्ठ उपाध्यक्ष, हरियाणा व्यपारी कल्याण बोर्ड के सदस्य विजय लक्ष्मी चन्द गुप्ता एवं हरियाणा व्यापार मंडल चरखी दादरी जिलाध्यक्ष व भाजपा व्यापार प्रकोष्ठ जिला संयोजक चरखी दादरी बलराम गुप्ता ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को पत्र लिख कर गेंहू के निर्यात पर 13 मई से लगाई गई पाबन्दी पर पुनर्विचार करने की मांग की है। उन्होंने प्रधानमंत्री को लिखे पत्र में कहा है कि गत 13 मई 2022 के पूर्व पोर्ट पर पहुचे गेहूं को निर्यात करने पर छूट मिलनी चाहिए। गुप्ता ने पत्र में कहा कि देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कुशल नेतृत्व में देश लगातार प्रगति कर रहा है और आत्मनिर्भरता की ओर अग्रसर है।

उन्होंने कहा है कि सरकार व अन्नदाता किसान के अथक प्रयासों से देश मे गेहूं की पैदावार अच्छी हुई है। केंद्र सरकार ने गेहूं के निर्यात करने का निर्णय लिया। जिसके चलते देश के भामाशाह व्यपारियो ने मंडियों में किसानों को उनकी उपज का सरकारी खरीद के भाव से ज्यादा देकर खरीदा ओर उस माल को एक्सपोर्ट करने वालो को विक्रय किया और अचानक सरकार द्वारा 13 मई को गेहूं के निर्यात पर पाबंदी लगा देना आज पूरे देश के व्यपारियो के गेहूं से लदे हजारो ट्रक कांडला ओर बम्बई बन्दरग्रह पर अनलोड होने के लिए खड़े है।

पत्र में यह भी कहा गया है कि दूसरी ओर रेलवे साइडिंग में भी लोडिंग के लिए गेहूं लगा हुआ है।और रेलवे ट्रेक पर भी गेहूं चल रहा है।केंद्र सरकार के नये आदेश के कारण देश के निर्यातक व्यपारियों द्वारा लिये गये आर्डरों को केंसिल होने का डर सता रहा है , जिसके कारण व्यपारियो को भारी नुकसान उठाने के लिए मजबूर होना पड़ेगा।इस लिए व्यपारी नेताओ ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को पत्र लिख कर मांग की कि 13 मई 2022 से पहले के गेहूं निर्यात आर्डर की सप्लाई हेतु निर्यात पॉलिसी में संसोधन कर गेहूं निर्यात पर व्यपारियो को छूट दी जाए। अन्यथा व्यपारियों बर्बादी के कगार पर आजयेगा जिसका असर देश के अन्नदाता किसान पर भी पड़ेगा। देश की आर्थिक व व्यवहारिक दृष्टिकोण को ध्यान में रख ,पूर्व में पोर्ट पर ओर ट्रांसपोटेशन में पहुचे गेहूं को निर्यात करने के लिए उचित समय का प्रवाधान करें।

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