सुभाष चौधरी
नई दिल्ली : संसद के शीतकालीन सत्र शुरू होने के साथ ही आशंका के अनुरूप सरकार और विपक्ष के बीच तनातनी शुरू हो गई है. एक तरफ केंद्र सरकार ने तिन कृषि बिलों को वापस लेने का ऐलान केर दिया है औए इसको लेकर प्रस्ताव भी लेकर आई है जबकि दूसरी तरफ विपक्ष ने अपनी कई मांगों को लेकर सरकार पर दबाव बनाना शुरू कर दिया है. विपक्ष ने कांग्रेस पार्टी की अध्यक्ष सोनिया गाँधी के नेतृत्व में किसानों के लिए एम् एस पी निर्धारित करने और गृह राज्यमंत्री को बर्खास्त करने सहित कई मांगों को लेकर आज संसद परिसर में महात्मा गांधी की मूर्ति के समक्ष धरना दिया व प्रदर्शन किया .
कांग्रेस पार्टी ने कहा है कि किसान आंदोलन के दौरान देशवासियों ने भाजपा के क्रूर चेहरे को देखा है। देश के किसानों के सभी महत्वपूर्ण मुद्दे हल करने होंगे, MSP की गारंटी भी सुनिश्चित करनी होगी और गृह राज्यमंत्री को भी बर्खास्त करना होगा। आज सड़कों पर हमारे अन्नदाताओं द्वारा किए संघर्ष की जीत की गूंज संसद में होगी।
कांग्रेस पार्टी की ओर से कहा गया कि आज एक बार फिर किसान आंदोलन में शहीद हुए 700 किसानों की, लखीमपुर के किसानों की शहादत को याद करने का दिन है। आज जब संसद में बिल वापस होंगे, पूरा देश एक साथ ‘जय किसान’ बोलेगा और अन्नदाताओं को नमन करेगा।
कांग्रेस पार्टी ने कहा है कि प्रधानमंत्री को चीनी घुसपैठ पर झूठ बोलने पर माफी मांगनी होगी और सीमा पर बने हालातों के बारे में तथ्यात्मक जानकारी देशवासियों के साथ साझा करनी होगी। कटाक्ष करते हुए कहा है कि प्रधानमंत्री अपनी आभासी छवि की रक्षा के लिए देशवासियों से झूठ बोलना बंद करें।
विपक्ष अब चीन के साथ अरुणाचल प्रदेश के मामले में भी सरकार से बक्तव्य की मांग कर रहा है जबकि एम् एस पी के लिए अलग कानून बनाने , गृह राज्य मंत्री अजय मिश्र को बर्खास्त करने , किसानों के लिए माफ़ी मांगने , 700 से अधिक किसानों के परिवारों को मुआबजा देने और किसानों के खिलाफ मामले रद्द करने की मांग कर रहे हैं.