नई दिल्ली : केंद्रीय पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार), प्रधानमंत्री कार्यालय, कार्मिक,लोक शिकायत, पेंशन,परमाणु ऊर्जा और अंतरिक्ष राज्यमंत्री डॉ. जितेंद्र सिंह ने आज लोक प्रशासन 2020 में उत्कृष्टता के लिए पीएम पुरस्कार की नई संशोधित योजना और वेब पोर्टल www.pmawards.gov.inकी शुरुआत की। इस अवसर पर डॉ. जितेंद्र सिंह ने केंद्रीय मंत्रालयों और राज्य / केंद्रशासित प्रदेश सरकारों को संबोधित करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नागरिक भागीदारी के शासन मॉडल के अनुरूप योजना को बदलाव के साथ शुरू किया गया है। उन्होंने कहा कि “अधिकतम शासन,न्यूनतम सरकार” का मंत्र नागरिकों की भागीदारी और नागरिकों को शासन के केंद्र में रखे बिना अधूरा है। इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि पारदर्शिता और जवाबदेही इसकी जुड़वां पहचान हैं।
डॉ. जितेंद्र सिंह ने कहा कि भारत का शासन मॉडल प्रमुख योजनाओं में जन भागीदारी के लिए प्रधानमंत्री के आह्वान के साथ लोगों के जुड़ते जाने से एक जन आंदोलन बन गया है। 15 अगस्त,2014 को लाल किले की प्राचीर से शौचालय बनाने के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के आह्वान का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि उस घोषणा के कुछ ही हफ्तों मेंशौचालय निर्माण एक जन आंदोलन बन गया और भारत ने 2 अक्टूबर 2019 को ओडीएफ (खुले में शौच से मुक्त) का दर्जा हासिल कर लिया।
डॉ. जितेंद्र सिंह ने कहा कि लोक सेवा वितरण में महत्वपूर्ण सुधारों को लोक शिकायत निवारण और आकांक्षी जिला कार्यक्रमों के कार्यान्वयन में भी महसूस किया गया। डॉ. जितेंद्र सिंह ने जिला कलेक्टरों द्वारा कोविड-19 महामारी के खिलाफ संघर्ष में किए गए असाधारण कार्यों को भी स्वीकार किया।
लोक प्रशासन 2020 में उत्कृष्टता के लिए प्रधानमंत्री पुरस्कार योजना में कुछ संशोधन कर फिर से शुरू किया गया है ताकि परिणाम संकेतक,आर्थिक विकास, लोगों की भागीदारी और जन शिकायतों के निवारण की दिशा में जिला कलेक्टरों के काम को पहचान दिलाया जा सके। चार प्रमुख श्रेणियों- जिला प्रदर्शन संकेतक कार्यक्रम, नवाचार सामान्य श्रेणी, आकांक्षी जिला कार्यक्रम और नमामि गंगे कार्यक्रम में नामांकन मंगाया गया है। जिला प्रदर्शन संकेतक कार्यक्रम के तहत,प्राथमिकता क्षेत्र में क्रेडिट प्रवाह के माध्यम से समावेशी विकास, एसबीएम (ग्रामीण) और एसबीएम (शहरी) कार्यक्रमों की प्राथमिकता क्षेत्र की योजनाओं के प्रभावी कार्यान्वयन के माध्यम से जनभागीदारी को बढ़ावा,सेवा वितरण और जन शिकायतों के निवारण में सुधार की दिशा में जिला कलेक्टरों के योगदान का मूल्यांकन किया जाएगा। राष्ट्रीय,राज्य और जिला स्तर पर नवाचारों के लिए अलग-अलग पुरस्कार श्रेणियां प्रदान करने के लिए योजना की नवाचार श्रेणी को व्यापक आधार दिया गया है। पुरस्कारों के लिए 1 अप्रैल 2018 से 31 मार्च 2020 तक की अवधि के दौरान किए गये कार्यों पर विचार किया जाएगा। 2020 में योजना के तहत कुल 15 पुरस्कार प्रदान किए जाएंगे।
ऑनलाइन आवेदन 17जुलाई से 15अगस्त 2020 तक www.pmawards.gov.in पोर्टल के जरिए जिलों / कार्यान्वयन इकाइयों / संगठनों के माध्यम से निर्धारित प्रारूप में विभिन्न श्रेणियों के तहत किसी भी नवाचार को उजागर करने वाली उपलब्धियों के विवरण के साथ आमंत्रित किए जाएंगे। विभाग संबंधित हितधारकों के पास आवेदन जमा करने की प्रक्रिया पर चर्चा करेगा ताकि एक सुचारू पंजीकरण प्रक्रिया सामने आ सके और पीएम पुरस्कार 2020के लिए व्यापक भागीदारी को प्रोत्साहित किया जा सके।
इस लॉन्च समारोह में डीएआरपीजी और डीपीपीडब्ल्यू में सचिव डॉ. के. शिवाजी, डीएआरपीजी में अपर सचिव वी. श्रीनिवास, डीएआरपीजी मेंसंयुक्त सचिवों एन. बी. एस. राजपुरऔर श्रीमती जया दूबे, वित्त,आवास और शहरी विकास,पेयजल और स्वच्छता मंत्रालयों,नमामि गंगे और नीति आयोग के वरिष्ठ अधिकारियों ने भाग लिया। वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्य से आयोजित इस लॉन्च समारोह में सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के वरिष्ठ अधिकारियों ने भी भाग लिया।