नई दिल्ली : देश में कोविड-19 संक्रमण के खिलाफ चल रही लड़ाई में सहभागी बनने के लिए राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने भी अपने वेतन में कटौती करने के साथ-साथ राष्ट्रपति भवन के खर्चे को भी सीमित करने का आदेश जारी किया है. केंद्र सरकार को पूर्णा संक्रमण की रोकथाम के लिए अधिक धनराशि उपलब्ध कराने की दृष्टि से राष्ट्रपति ने एक साल के लिए अपने वेतन का 30 प्रतिशत हिस्सा लेने का ऐलान किया है । इससे पहले भी श्री कोविंद, ने मार्च में पीएम- केयर फंड में एक महीने का वेतन दे चुके हैं. यह जानकारी राष्ट्रपति भवन ने एक प्रेस बयान में दी है.
राष्ट्रपति भवन की ओर से यह कहा गया है कि राष्ट्रपति ने राष्ट्रपति लिमोसिन की खरीद को टालने का फैसला किया है. इसे औपचारिक अवसरों के लिए इस्तेमाल किया जाता है। राष्ट्रपति भवन मैं सरकार के मौजूदा संसाधनों का ही ऐसे अवसरों पर उपयोग किया जाएगा। साथ ही राष्ट्रपति भवन ने अपने खर्चों में भी कटौती करने की सूची तैयार की है.
विज्ञप्ति में कहा गया है, “राष्ट्रपति ने राष्ट्रपति भवन को अपने खर्चे कम करने की नसीहत देते हुए देश के सामने एक अनुकरणीय उदाहरण प्रस्तुत करने का निर्देश दिया है. राष्ट्रपति भवन ने अपने खर्च में कटौती करने के लिए जिन उपायों की सूची तैयार की है उनमें प्रमुख रूप से वित्त वर्ष 2020-21 में कोई नया पूंजीगत कार्य नहीं करना और केवल जो काम वर्तमान में चल रहे उन्हें ही पूरा किया जाना, मरम्मत और रखरखाव का काम केवल संपत्ति के उचित रखरखाव को सुनिश्चित करने के लिए कम से कम किया जाना, कार्यालय मैं उपयोग किए जाने वाले सामान कमी करना शामिल है. इसके अलावा राष्ट्रपति भवन अपव्यय से बचने और कार्यालय को पर्यावरण के अनुकूल बनाने के लिए कागज के उपयोग में कटौती करने के लिए ई-तकनीक का उपयोग करने का निर्णय लिया है। ऊर्जा और ईंधन की बचत के प्रयास भी किए जाएंगे।
राष्ट्रपति ने अपने दौरे और कार्यक्रमों को भी काफी कम करने का संकेत दिया है. उन्होंने कहा है कि सोशल डिस्टेंसिंग मेंटेन करने की दृष्टि से या आवश्यक है जबकि इससे होने वाले अनावश्यक खर्च से भी बचा जाएगा. किसी भी कार्यक्रम में शामिल होने के लिए राष्ट्रपति आधुनिक तकनीक का अधिकतम उपयोग करेंगे।
राष्ट्रपति भवन में यह भी बताया है कि विदेशी व अन्य मेहमानों के लिए राष्ट्रपति भवन में होने वाले समारोह और रात्रि भोज जैसे कार्यक्रम पर खर्च कम किया जाएगा. ऐसे समारोहों में शामिल होने के लिए अतिथियों की सूची अब अपेक्षाकृत छोटी होगी. कहा गया है कि यह निर्णय सोशल डिस्टेंसिंग की दृष्टि से भी आवश्यक है. ऐसे अवसरों पर सजावट के लिए फूलों और अन्य वस्तुओं का कम उपयोग करने और भोजन के मेनू को भी सीमित करने पर जोर दिया गया है.