भूकंप की आपदा के दौरान राहत एवं बचाव कार्यों को लेकर गुरूग्राम में हुई मेगा मॉक ड्रिल

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– जिला प्रशासन की ओर से मॉक ड्रिल को लेकर 5 स्थानों पर चलाया गया राहत एवं बचाव के लिए विशेष ऑप्रेशन
– शुक्रवार की सुबह सायरन बजाकर किया गया आपदा के लिए अलर्ट जारी

– एनडीएमए के साथ मिलकर जिला प्रशासन के अधिकारियों ने संभाला राहत एवं बचाव के कार्यों का प्रबंधन

गुरूग्राम, 24 मार्च। भूकंप जैसी प्राकृतिक आपदाओं से निपटने के लिए गुरूग्राम में शुक्रवार की सुबह मल्टी स्टेट मेगा मॉक ड्रिल की गई। जिला प्रशासन की ओर से शुक्रवार की सुबह 9ः05 बजे सायरन बजाकर अलर्ट जारी किया गया। रिक्टर स्केल पर 7.7 तीव्रता वाले भूकंप का परिदृश्य बनाते हुए सभी चिन्हित पांच स्थानों नामतः लघु सचिवालय, सेक्टर-10 स्थित नागरिक अस्पताल, राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय सेक्टर 4/7, हीरो मोटोकॉर्प कंपनी व आरडी सिटी में राहत एवं बचाव के कार्य शुरू किए गए। राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (एनडीएमए) की निगरानी में जिला प्रशासन ने ताऊ देवीलाल स्टेडियम में राहत एवं बचाव की आपातकालीन सेवाओं के लिए स्टेजिंग एरिया बनाया था। जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के अध्यक्ष एवं डीसी निशांत कुमार यादव के मार्ग दर्शन में आयोजित मॉक ड्रिल सफलतापूर्वक संपन्न हुई।

जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के सीईओ एवं एडीसी विश्राम कुमार मीणा ने मॉक ड्रिल के दौरान लघु सचिवालय स्थित कॉन्फें्रस हॉल से राहत एवं बचाव के कार्यों की मॉनीटरिंग की। उन्होंने बताया कि मॉक ड्रिल के दौरान सभी चिन्हित स्थानों पर प्रभावित हुए और लोगों के घायल होने की रिपोर्ट प्राप्त हुई। यह मान लिया गया था कि बड़े पैमाने पर इमारते को नुकसान पहुँचा है और इमारतों का गिरना, गैसो का रिसाव और आग की दुर्घटनाएँ भी घटित हुई। कंट्रोल रूम में सीटीएम दर्शन कुमार यादव भी ड्रिल के दौरान मौजूद रहे।

मॉक ड्रिल के चिन्हित स्थानों पर एसडीएम रविंद्र यादव, एडिशनल लेबर कमीशनर कुशल कटारिया, बादशाहपुर के एसडीएम सतीश यादव, जिला शिक्षा अधिकारी व डिप्टी सिविल सर्जन राहत एवं बचाव कार्यों के दौरान अलर्ट पर रहे। वहीं, स्टेजिंग एरिया में डीआरओ मनवीर सांगवान ने राहत एवं बचाव में लगी टीमों को कॉर्डिनेट किया। सभी स्थानों पर ड्रिल के दौरान कर्मचारियों और अधिकारियों को सुरक्षित निकाल लिया गया। एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, अग्निशमन और आपातकालीन सेवाओं आदि के कर्मियों का उपयोग कथित पीड़ितों की खोज और बचाव अभियान में किया गया था। राहत कार्यों के इस अभ्यास मेंआपदा मित्र ने ने भी सक्रिय रूप से भाग लिया। मॉक ड्रिल के दौरान अनुमानित पीड़ितों को तुरंत प्राथमिक उपचार दिया गया और निकटतम अस्पताल में स्थानांतरित कर दिया गया।

इस मॉक ड्रिल में जिला प्रशासन की टीम के साथ एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, पुलिस विभाग, स्वास्थ्य विभाग और फायर डिपार्टमेंट की टीमों ने हिस्सा लिया। यह मॉक ड्रिल शुक्रवार को गुरूग्राम के साथ-साथ हरियाणा के झज्जर, फरीदाबाद व सोनीपत जिले में भी आयोजित हुई। हरियाणा के अलावा, इस ड्रिल में राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली तथा उत्तर प्रदेश के एनसीआर में आने वाले जिले शामिल हुए।

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