सुभाष चन्द्र चौधरी
गुरुग्राम : गुरुग्राम वासियों को यह जानकर आशंका के बादल से निकलने में आसानी होगी की यहां अब तक कोविड-19 वायरस संक्रमण की दृष्टि से गहन निगरानी/ आइसोलेशन में रखे गए 9433 लोगों में से 6861 व्यक्ति 14 दिन कि इस अवधि को पूरा कर सामान्य स्थिति में लौट चुके हैं. यहाँ पॉजिटिव पाए गए लोगों में से 63.41 प्रतिशत मरीज अब तक इस बीमारी से निजात पा चुके हैं. अब केबल 165 व्यक्ति ही क्वॉरेंटाइन में रखे गए हैं. आज चार नए कोरोना वायरस पॉजिटिव मामले सामने आए हैं जिससे अस्पताल में इलाज करा रहे लोगों की कुल संख्या 15 हो गई है. स्वास्थ्य विभाग की रिपोर्ट के अनुसार यहां आज 142 लोगों के टेस्ट सैंपल लिए गए जिनमें से 74 सैंपल सरकारी टेस्ट लैब द्वारा जबकि 68 सैंपल शहर के प्राइवेट लैब ने टेस्ट के लिए लिए.
हरियाणा प्रदेश के इस व्यावसायिक शहर में अब तक कुल 41 मामले पॉजिटिव पाए गए जिनमें से 26 लोग रिकवर कर चुके हैं और 15 मरीजों का इलाज चल रहा है . स्वास्थ्य विभाग का कहना है कि यहां टेस्ट के लिए लिए गए कुल 3583 सैंपल में से 41 सैंपल ही पॉजिटिव पाए गए जबकि 3468 लोगों की रिपोर्ट नेगेटिव आई. अब तक भेजे गए टेस्ट सैंपल में से 74 लोगों की रिपोर्ट आनी बाकी है.
गुरुग्राम में पॉजिटिव पाए गए लोगों में से 63.41 प्रतिशत मरीज अब तक इस बीमारी से निजात पा चुके हैं. लोगों के इस संक्रमण से बाहर निकलने का अनुपात इस शहर के लोगों के लिए उत्साहवर्धक है जबकि लॉक डाउन के दौरान सोशल डिस्टेंसिंग और अन्य स्वास्थ्य सुरक्षात्मक उपायों की दृष्टि से इस शहर की व्यवस्था को बनाए रखने में लगे नोडल अधिकारी एडीशनल चीफ सेक्रेट्री वीएस कुंडू, जिला उपायुक्त अमित खत्री और पुलिस कमिश्नर मोहम्मद अकील के लिए भी संतोषप्रद है. इसमें कोई दो राय नहीं कि उनकी टीम काफी हद तक इस वैश्विक महामारी के संक्रमण को गुरुग्राम जैसे अंतरराष्ट्रीय शहर में नियंत्रित करने में अब तक सफल रहे हैं.
स्वास्थ विभाग का यह आंकड़ा दर्शाता है कि एक तरफ सीएमओ एवं स्वास्थ्य विभाग की टीम जबकि दूसरी तरफ बड़ी संख्या में सरकारी अधिकारियों, कर्मचारियों एवं पुलिसकर्मियों की सक्रियता ने कोरोना को यहां रोकने मैं कोई कोर कसर नहीं छोड़ी.
एक तरफ नोडल अधिकारी श्री कुंडू का जिला मुख्यालय में जमे रहना और मिनट 2 मिनट स्थितियों का आकलन करते हुए आवश्यक निर्णय लेकर उसे अपने अधिकारियों की टीम के द्वारा धरातल पर लागू कराना अब तक मिली कामयाबी का बड़ा कारण रहा तो दूसरी तरफ अलग-अलग थाना क्षेत्रों में संबंधित एस एच ओ और उनकी टीम के द्वारा सामान्य लोगों को अपने घरों तक सीमित करने की कोशिश कारगर रही.
हरियाणा प्रदेश और दिल्ली एनसीआर का वीवीआइपी शहर होने के बावजूद नोडल अधिकारी श्री कुंडू का किसी भी दबाव में नहीं आना और सभी क्षेत्रों में एक जैसा गाइडलाइन का अनुपालन कराना आने वाले समय के लिए एक रोल मॉडल बन गया है. कहना ना होगा कि यहां इक्का-दुक्का मामले को छोड़कर लॉक डाउन की गाइडलाइन के उल्लंघन का कोई ऐसा बड़ा मामला सामने नहीं आया. गुरुग्राम पुलिस ने भी इस दिशा में अथक कोशिश की और लॉक डाउन के प्रावधानों का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ सैकड़ों मामले दर्ज किए और और सैकड़ों की संख्या में वाहन भी इंपाउंड करने में कोई कोताही नहीं बरती.
यहां प्रशासन की मुस्तैदी और सुरक्षात्मक उपायों के प्रति किसी भी प्रकार की ढिलाई नहीं बरतने का प्रमाण भी मिल रहा है. गत 20 अप्रैल से केंद्र सरकार की ओर से घोषित कुछ छूट देने और औद्योगिक एवं व्यावसायिक प्रतिष्ठानों को पुनः काम शुरू करने की अनुमति देने के मामले में भी एडिशनल चीफ सेक्रेटरी वीएस कुंडू केंद्र सरकार और राज्य सरकार द्वारा जारी गाइडलाइन के प्रति दृढ हैं. उन्होंने पिछले 3 दिनों में औद्योगिक सेक्टर के प्रतिनिधियों को बड़ी साफगोई के साथ मजबूत संदेश दे दिया है कि गुरु ग्राम वासियों एवं श्रमिकों की स्वास्थ्य सुरक्षा उनकी पहली प्राथमिकता है. औद्योगिक इकाइयों को काम शुरू करने की अनुमति लेने के लिए भी जिस गहण प्रक्रिया का अनुसरण किया जा रहा है उससे साफ है कि कोरोना संक्रमण के फैलाव की आशंका को किसी भी स्तर पर पनपने देने की इजाजत यहां नहीं दी जाएगी. अगर जनहित के प्रति प्रशासनिक वह पुलिस महकमे का यह रुख बरकरार रहा तो वह दिन दूर नहीं जब साइबर सिटी से कोरोना वायरस का नामो निशान मिट जाएगा.