खेलों को समवर्ती सूचि में लाने का प्रयास : गोयल

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एनएसएफ की बैठक में प्रस्ताव पारित

अब राज्यों के खेल मंत्रियों से होगा विचार 

 

नई दिल्ली : अगर राज्यों के खेल मंत्री सहमत हुए तो खेलों को भारतीय संविधान की राज्य सूची से समवर्ती सूची में स्थानांतरित करने कि प्रक्रिया शुरी की जाएगी. इसके लिए राष्ट्रीय खेल महासंघों (एनएसएफ) की बैठक में एक प्रस्ताव पारित किया गया है. उल्लेखनीय है कि यह बैठक केंद्रीय खेल मंत्रालय की ओर से बुलायी गयी थी.

 

20 से अधिक एनएसएफ के प्रतिनिधि शामिल

 

खेल मंत्री विजय गोयल के अनुसार एनएसएफ खेलों को राज्य सूची से समवर्ती सूची में लाने के लिये प्रयास करने को सहमत हो गये हैं. लेकिन इस मामले में आगे बढ़ने से पहले राज्य सरकारों से भी परामर्श करना जरूरी है. गोयल ने बताया कि यह मंत्रालय की राष्ट्रीय खेल महासंघों के साथ दूसरी बैठक है. इससे पहले कुछ एनएसएफ के साथ बैठक हुयी थी. गुरुवार को हुयी बैठक में 20 से अधिक एनएसएफ के प्रतिनिधि शामिल हुए. खेल मंत्री ने दावा किया कि सभी खेलों को संविधान की राज्य सूची में रखने के बजाय उसे समवर्ती सूची में शामिल करने पर सहमत हैं.

 

इस बैठक में एनएसएफ ने एक प्रस्ताव पारित कर खेलों को समवर्ती सूची में रखे जाने की मांग की. अब इसके लिये निर्धारित प्रक्रिया के तहत राज्य सरकारों और उनके खेल मंत्रियों से परामर्श करना होगा. उन्होंने उम्मीद जताई कि अब खेलों को समवर्ती सूची में शामिल करने का रास्ता साफ हो सकेगा.

 

केंद्र भी दे सकेगा दखल 

 

गौरतलब है कि आगर खेल को समवर्ती सूचि में शामिल कर दिया जायेगा तो केंद्र व राज्य सरकारें दोनों देश में खेलों की बेहतरी के लिये मिलकर काम कर पाएंगे. अभी यह राज्य सूचि में शामिल है. इसलिए इसे राज्य सरकार का विषय बताया जाता है.  

बताया जाता है 2009 में केंद्रीय कैबिनेट ने आम सहमति नहीं बनने के कारण संविधान के (61वें संशोधन) विधेयक को वापस लेने का फैसला किया था. गोयल ने स्पष्ट किया कि खेल विधेयक लाने से पहले उस पर अभी राज्यों व इनसे जुड़े और लोगों से विचार विमर्श किया जाएगा.

 

खिलाड़ियों के लिए त्रैमासिक पत्रिका 

 

उनके अनुसार अब खिलाड़ियों की उपलब्धियों के बारे में बताने के लिये भारतीय खेलों पर त्रैमासिक पत्रिका प्रकाशित कि जाएगी. सभी एनएसएफ का मानना था कि लोग प्रत्येक खेल की उपलब्धियों के बारे में नहीं जानते और इसलिए खिलाड़ियों की उपलब्धियों को दिखाने के लिये त्रैमासिक पत्रिका निकालने पर सहमति बनी.  बैठक में  सरकार ने 26 एनएसएफ में से कुछ के अनुदान फिर से शुरू करने का भी फैसला किया. गौरतलब हैं कि इनमें वे खेल हैं जिन्हें खेल मंत्रालय की प्राथमिकता सूची में अन्य वर्ग में शामिल किया गया था. इनके अनुदान 2014 में रोक दिये गये थे.

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