गुरुग्राम 7 अक्टूबर । पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय के न्यायाधीश एवं हरियाणा राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के एग्जीक्यूटिव चेयरमैन जस्टिस अजय कुमार मित्तल ने आज गुरुग्राम जिला में आयोजित अपनी ही तरह के पहले मेडिको लीगल लिटरेसी सेमिनार में शिरकत की। यह सेमिनार जिला विधिक सेवा प्राधिकरण गुरुग्राम के तत्वावधान में इंडियन मेडिकल एसोसिएशन गुरुग्राम आर्टेमिस हॉस्पिटल तथा दक्ष फाउंडेशन के सहयोग से आयोजित किया गया था।
श्री मित्तल ने इस अवसर पर कहा कि आज के इस बदलते परिवेश में चिकित्सकों को कानून की मूलभूत जानकारी होना अत्यंत आवश्यक है। उन्होंने कहा कि आज मौजूदा पॉलिसीज व कानून के बीच के अंतर तथा ग्रास रूट लेवल पर समस्याओं को समझने के लिए कानून क्षेत्र से जुड़े पदाधिकारियों को इस पर खुलकर चर्चा करने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि इसमें कोई दो राय नहीं है कि आपराधिक न्याय प्रणाली डॉक्टरों के बिना प्रभावी ढंग से कार्य नहीं कर सकती। उन्होंने यह भी कहा कि डॉक्टरों के प्रति हिंसा एक महत्वपूर्ण मुद्दा है जिस पर हमें विचार विमर्श करने की आवश्यकता है। आज आयोजित सेमिनार में कई महत्वपूर्ण मुद्दों जैसे मेडिकल नेगलिजेंस, पीसीपीएनटी एंड एमपीटी एक्ट – वर्तमान युग में प्रासंगिकता , डॉक्टरों के प्रति हिंसा- डॉक्टरों के उत्तरदायित्व आदि महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा की गई। उन्होंने कहा कि हरियाणा विधिक सेवाएं प्राधिकरण द्वारा भविष्य में भी इस प्रकार के कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे ताकि चिकित्सकों को कानून की मूलभूत जानकारी मिल सके ।
आज आयोजित सेमिनार में ज्यूडिशरी के अधिकारियों के अलावा 140 वरिष्ठ चिकित्सकों तथा कानून की शिक्षा प्राप्त कर रही विद्यार्थियों ने भाग लिया।
डॉक्टरों को कानून की जानकारी होना आवश्यक है : जस्टिस मित्तल
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