नई दिल्ली : पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की जयंती के अवसर पर हर साल 25 दिसंबर को सुशासन दिवस मनाया जाता है। नागरिकों के जीवन की सुगमता सुनिश्चित करते हुए पारदर्शिता और जवाबदेही को बढ़ावा देने के उद्देश्य के अनुरूप सम्पदा निदेशालय, आवास एवं शहरी कार्य मंत्रालय ने आज एक नया वेब पोर्टल और मोबाइल एप –ई-सम्पदा राष्ट्र को समर्पित किया। यह नया एप्लीकेशन एक लाख से ज्यादा सरकारी रिहायशी आवासों के आवंटन, 28 शहरों में स्थित 45 कार्यालय परिसरों में सरकारी संगठनों के लिए कार्यालय के स्थान का आवंटन, 1,176 हॉलीडे होम रूम्स तथा सामाजिक समारोहों के लिए 5 अशोक रोड जैसे स्थलों की बुकिंग आदि जैसी सभी सेवाओं के लिए सिंगल विंडो उपलब्ध कराता है।
‘एक देश, एक प्रणाली’ उपलब्ध कराने के प्रयास के तहत सम्पदा निदेशालय की पहले की चार वेबसाइट्स (gpra.nic.in, eawas.nic.in, estates.gov.in, holidayhomes.nic.in) और दो मोबाइल एप्स (m-Awas& m-Ashoka5) को एक में एकीकृत कर दिया गया है, जिससे देश भर में सभी सेवाओं को एक ही मंच पर उपलब्ध कराने का मार्ग प्रशस्त होता है। आवास एवं शहरी कार्य राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) हरदीप सिंह पुरी ने आज यहां आवास एवं शहरी कार्य सचिव श्री दुर्गा शंकर मिश्रा और अन्य वरिष्ठ अधिकारियों की मौजूदगी की यह वेबसाइट और मोबाइल एप लॉन्च किया।
वर्चुअल माध्यम से आयोजित एक कार्यक्रम में मीडिया को संबोधित करते हुए श्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा कि, यह विभिन्न भूसंपत्ति सेवाओं जैसे आवंटन, अवधारण, नियमितीकरण और अदेयता प्रमाणपत्र आदि प्रदान करने में पारदर्शिता तथा जवाबदेही सुनिश्चित करने के लिए ई-गवर्नेंस को बढ़ावा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
श्री पुरी ने कहा कि, ई-सम्पदा का विकास विभिन्न प्रक्रियाओं को सरल बनाने और पूरे भारत में इस प्रणाली में एकरूपता लाने के लिए किया गया है। यह सुविधा भारत सरकार के अधिकारियों / विभागों के लिए जीवन को आसान बनाने में मदद करेगी क्योंकि इसके तहत सभी सेवाओं का एकल खिड़की पर ऑनलाइन लाभ उठाया जा सकता है, साथ ही आवेदनों की लाइव ट्रैकिंग भी की जा सकती है। परिसंपत्तियों के उपयोग तथा सेवाओं के वितरण पर वास्तविक समय की जानकारी ही संसाधनों के सर्वोत्कृष्ट उपयोग की सुविधा प्रदान करेगी। स्वचालित प्रक्रियाओं से मानवीय हस्तक्षेप में कमी आएगी और इससे पारदर्शिता में वृद्धि भी होगी।
मंत्रालय में सचिव श्री दुर्गा शंकर मिश्रा ने कहा कि, ई-सम्पदा के माध्यम से उपयोगकर्ताओं को विशिष्ट डैशबोर्ड, सेवा उपयोग संग्रह और लाइसेंस शुल्क एवं बकाया राशि की वास्तविक सामयिक स्थिति की जानकारी जैसी विशेष सुविधाएं प्राप्त होती हैं। सभी प्रकार के भुगतान तथा बकाया राशि को डिजिटल मोड के माध्यम से नकदीरहित जमा किया जा सकता है। ई-सम्पदा यूजर फ्रेंडली है और डिवाइस उपयोगकर्ता के काफी अनुकूल है। इसका प्रयोग करने वालों को सेवाओं का दृश्य अनुभव होगा और वे ऑनलाइन प्रतिक्रिया दे पाएंगे।
यह पोर्टल पूरे भारत में उपयोगकर्ताओं को शिकायतों को दर्ज करने, दस्तावेज प्रस्तुत करने और वर्चुअल सुनवाई में उपस्थित होने के लिए ऑनलाइन सुविधा प्रदान करता है। यह प्रशासनिक लागत में कमी लाएगा तथा डायरेक्टरेट ऑफ़ एस्टेट के चक्कर लगाने में व्यय होने वाले समय को कम करेगा और संसाधनों को बचाएगा। उपयोगकर्ता के बेहतर अनुभव के लिए ई-सम्पदा मोबाइल ऐप और चैटबोट सुविधा प्रदान की गई है। अधिकारियों के लिए सेवा स्तर बेंचमार्क और गतिविधि लॉग भी जवाबदेही सुनिश्चित करने के लिए शामिल किए गए हैं।
पूरे भारत में सभी सेवाओं का लाभ उठाने के लिए ई-सम्पदा: ऑनलाइन, पेपरलेस, कैशलेस है।
• 40 स्थानों पर 1,09,474 सरकारी आवासीय आवास
• 28 स्थानों पर 45 कार्यालय परिसरों में 1.25 करोड़ वर्ग फुट ऑफिस स्पेस अलॉटमेंट
• 62 स्थानों पर 1,176 हॉलिडे होम रूम / सुइट
• विज्ञान भवन की बुकिंग
• सामाजिक कार्यों के लिए प्रतिष्ठानों की बुकिंग
नया वेब पोर्टल और मोबाइल ऐप एनआईसी द्वारा विकसित किया गया है। मोबाइल ऐप एंड्रॉइड के साथ-साथ आईओएस प्लेटफॉर्म के लिए भी उपलब्ध होगा। वेब पोर्टल www.esampada.mohua.gov.in से इस सुविधा तक पंहुचा जा सकता है और मोबाइल ऐप को एंड्रॉइड प्ले स्टोर / ऐप्पल ऐप स्टोर से डाउनलोड किया जा सकता है।