नई दिल्ली : सड़क परिवहन एवं राजमार्ग तथा सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्री नितिन गडकरी ने कहा है कि सरकार का लक्ष्य वर्ष 2024 तक सड़क दुर्घटना से होने वाली मौतों में 50 प्रतिशत तक की कमी लाने का है।
फिक्की द्वारा आयोजित ‘सड़क दुर्घटनाओं को रोकने में कॉर्पोरेट की भूमिका’ पर आभासी सत्र को संबोधित करते हुए श्री गडकरी ने फिक्की को सुरक्षित प्रणाली दृष्टिकोण पर आधारित सड़क सुरक्षा कंसोर्टियम ‘सफर’ की घोषणा पर तथा कॉर्पोरेट जगत के लिए सड़क सुरक्षा पर श्वेत पत्र जारी करने की बधाई दी। श्री गडकरी ने हर राज्य, जिले और शहर में ब्लैक स्पॉट की पहचान करने की आवश्यकता पर बल दिया। मंत्री महोदय ने कहा कि विश्व बैंक और एडीबी ने पहले ही एक योजना को मंजूरी दे दी है जिसके द्वारा सरकार राज्यों, एनएचएआई और अन्य हितधारकों के लिए ब्लैक स्पॉट ख़त्म करने के लिए 14,000 करोड़ रुपये आवंटित कर रही है।
श्री गडकरी ने कहा कि उनका मंत्रालय सड़क सुरक्षा के चार ई, यानी इंजीनियरिंग (सड़क एवं ऑटोमोबाइल इंजीनियरिंग समेत), इकोनॉमी (अर्थव्यवस्था), इंफोर्समेंट और (एजुकेशन) शिक्षा के पुनर्गठन और सुदृढ़ीकरण से सड़क दुर्घटना में होने वाली मौतों को कम करने के लिए कड़ी मेहनत कर रहा है।
उन्होंने सुझाव दिया कि कॉर्पोरेट जगत को दुर्घटनाओं के पीछे के कारणों की पहचान करने के लिए स्वतंत्र सर्वेक्षण करना चाहिए और मंत्रालय को इस बारे में एक रिपोर्ट सौंपी जा सकती है। मंत्री महोदय ने बताया कि 50 प्रतिशत सड़क दुर्घटनाएं रोड इंजीनियरिंग की समस्याओं के कारण होती हैं और अब सरकार ने ब्लैक स्पॉट का इलाज करने के लिए विशेष पहल की है। इससे भारत में ‘शून्य सड़क दुर्घटना’ के नज़रिए की प्राप्ति में काफी योगदान मिलेगा।
श्री गडकरी ने कहा कि शिक्षा और जागरूकता के लिए एनजीओ, सामाजिक संगठनों, विश्वविद्यालयों के सहयोग की जरूरत है। मंत्री महोदय ने घोषणा की कि एक सेवानिवृत्त आईएएस अधिकारी की अध्यक्षता में एक स्वतंत्र सड़क सुरक्षा परिषद 15 दिनों के भीतर अस्तित्व में आ जाएगी।