गुरुग्राम : हरियाणा के राज्यपाल प्रो. कप्तान सिंह सोलंकी ने कहा कि ‘संकेत भाषा’ को हरियाणा में मान्यता मिलनी चाहिए, इसके लिए वे प्रयास करेंगे। राज्यपाल आज गुरुग्राम के मूक एवं बधिर निशक्त जन कल्याण केंद्र में आयोजित एक कार्यक्रम में बोल रहे थे। उन्होंने आज इस केंद्र में 3डी प्रीटिंग लैब तथा कम्प्युटरीकृत एंब्रोएडरी वर्कशॉप का शुभारंभ किया और कल्याण केंद्र की वैबसाईट भ्भी लॉच की। उन्होंने केंद्र परिसर में मूक बधिर बच्चों द्वारा लगाई गई प्रदर्शनी का भी अवलोकन किया।
उन्होंने कहा कि गुरुग्राम का यह केंद्र निशक्त जनों को सुविधाएं प्रदान कर उन्हें शक्त बनाने में महत्वपूर्ण योगदान दे रहा है। यह केंद्र हरियाणा ही नही बल्कि देशभर के लिए अच्छा उदाहरण है। उन्होंने गुरुग्राम के इस मूक-बधिर निशक्त जन कल्याण केंद्र में कार्यरत प्रशिक्षको तथा अध्यापको का वेतन सरकार से दिलवाने का आश्वासन भ्भी दिया। केंद्र की प्राचार्य शरणजीत कौर ने राज्यपाल का ध्यान इस ओर दिलाते हुए कहा था कि यह मामला राज्य सरकार के शिक्षा विभाग को भ्भेजा जा चुका है। संकेत भाषा को मान्यता प्रदान करने की मांग भी मंच से उठाई गई और बताया गया कि मध्य प्रदेश में सरकार द्वारा ऐसा कदम उठाया जा चुका है। इस पर राज्यपाल ने कहा कि उन्हें यह सुनकर अच्छा लगा कि मध्य प्रदेश सरकार ने संकेत भाषा को मान्यता दी है क्योंकि वे स्वयं मध्य प्रदेश के रहने वाले हैं और जिस प्रदेश (हरियाणा)के वे राज्यपाल हैं, यहां पर भी इसे मान्यता दिलवाने का प्रयास करेंगे।
प्रो. सोलकी ने कहा कि यहां निशक्त जनों द्वारा प्रस्तुत किए गए कार्यक्रम भावपूर्ण और संवेदनशील थे क्योंकि कार्यक्रमों को देखकर व्यक्ति के मन में स्वत: संवेदनाएं जागृत हो जाती हैं। अंग्रेजी की एक कहावत – ‘मैन प्रोपोजिज, गोड डिस्पोजिज’ का उल्लेख करते हुए राज्यपाल ने कहा कि इस केंद्र में उल्टा हो रहा है क्योंकि बच्चों में कमी प्रकृति अथवा भगवान ने दी है और मनुष्य ने सुविधाएं प्रदान की जिससे वे बच्चे उस कमी को महसूस नहीं कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि इस केंद्र में 6 व्यवसायिक कोर्साे में प्रशिक्षण दिया जा रहा था और आज उसमें 2 नए कोर्स और जुड़ गए हैं। प्रो. सोलंकी ने कहा कि उन्हें उपायुक्त एवं केंद्र के अध्यक्ष टी एल सत्यप्रकाश के मुख से यह सुनकर प्रसन्नता हुई कि यहां से प्रशिक्षण प्राप्त करने वाले हर विद्यार्थी को उन्होंने विभिन्न कंपनियों मे रोजगार दिलवाने का बीड़ा उठाया है। इससे श्री सत्यप्रकाश की इन निशक्त जन बच्चों के प्रति प्रतिबद्धता दिखाई देती है।
उन्होंने यह भी कहा कि सन् 1971 में तीन बच्चों से शुरू हुआ गुरुग्राम के इस कल्याण केंद्र में आज संख्या 350 तक पहुंच गई है। इस प्रकार के निशक्त बच्चे ज्यादा आएं, यह खुशी की बात तो नही है परंतु प्रकृति के आगे किसी की नहीं चलती। राज्यपाल ने कहा कि निशक्त जन को शक्त बनाने की दिशा में यहां सराहनीय कार्य हो रहा है। इस केंद्र में वर्तमान में 150 विद्यार्थियों के लिए छात्रावास की सुविधा है तथा अन्य विद्यार्थियों को समायोजित करने के लिए छात्रावास का विस्तार करने की बात मण्डल आयुक्त डा. डी सुरेश द्वारा उठाई गई थी जिस पर राज्यपाल ने कहा कि जरूरत अनुसार छात्रावास का निर्माण उपायुक्त तथा इस केंद्र के अध्यक्ष कंपनियों से सहयोग लेकर करवाने का प्रयास करें, फिर भी यदि कमी रहती है तो वे स्वयं इसमें मदद करेंगे। गुरुग्राम के इस केंद्र में निशक्त जन बच्चों के प्रशिक्षण के लिए कई सुविधाएं जुटाने में सहयोग देने के लिए आगे आई स्वयं सेवी संस्थाओं तथा कॉर्पोरेट कंपनियों को भी उन्होंने बधाई दी।
इस मौके पर राज्यपाल ने सराहनीय प्रदर्शन करने वाले केंद्र के विद्यार्थियो को पुरस्कृत किया और केंद्र में सुविधाएं जुटाने में सहयोग देेने वाली स्वयंसेवी संस्थाओं तथा कॉर्पोरेट कंपनियों के प्रतिनिधियों को सम्मानित किया।
इससे पहले राज्यपाल का स्वागत करते हुए गुरुग्राम मण्डल के आयुक्त डा. डी सुरेश ने बताया कि इस केंद्र में 250 बच्चों को प्राथमिक शिक्षा दी जा रही है तथा 120 बच्चों को व्यवसायिक शिक्षा प्रदान की जा रही है। उन्होंने बताया कि पिछले दो वर्षो में इस केंद्र से प्रशिक्षित 150 विद्यार्थियों को विभिन्न कंपनियों में रोजगार मिला है। इसके अलावा, कुछ विद्यार्थी वायु सेना और थल सेना में भी नियुक्त हुए हैं। आयुक्त ने कहा कि इस केंद्र में सुविधाएं प्रदान करने में प्राईवेट सैक्टर के सीईओ तथा अधिकारी भी सराहनीय समर्थन दे रहें हैं। उन्होंने इस केंद्र में इंफ्रास्ट्रक्चर के लिए सरकार से धन उपलब्ध करवाने का आग्रह भी किया।
केंद्र की प्राचार्य डा. शरणजीत कौर ने इस केंद्र की उपलब्धियों पर प्रकाश डाला और बताया कि 10वीं में इस केंद्र का परिणाम 85 प्रतिशत रहा है। खेलों में इस केंद्र के विद्यार्थियों ने नेशनल जुडो प्रतियोगिता में 33 मैडल जीतकर ओवरऑल चैम्पियनशिप अपने नाम कर ली हैं। उन्होंने बताया कि इस केंद्र में सुविधाएं जुटाने के लिए विभिन्न कंपनियों ने 4.25 करोड़ रूपए की राशि सीएसआर के तहत उपलब्ध करवाई है।
इस अवसर पर गुरुग्राम मण्डल के आयुक्त डा. डी सुरेश, उपायुक्त टी एल सत्यप्रकाश, श्रीमाता शीतला देवी पूजा स्थल बोर्ड के मुख्य कार्यकारी अधिकारी वत्सल वशिष्ट , नगर निगम के संयुक्त आयुक्त विवेक कालिया, गुरुग्राम उतरी के एसडीएम सुशील सारवान सहित कॉर्पोरेट जगत के कई प्रतिनिधि उपस्थित थे।