-वर्तमान विद्युत परिदृश्य और विशेषकर हाइड्रोपावर के मामले में विचार विमर्श हुआ
चंडीगढ़, 07 फरवरी । हरियाणा विद्युत विनियामक आयोग (एचईआरसी) के अध्यक्ष नन्द लाल शर्मा ने मंगलवार शाम को प्रदेश के मुख्य सचिव संजीव कौशल से मुलाकात की, दोनों के मध्य वर्तमान विद्युत परिदृश्य और विशेषकर हाइड्रोपावर के मामले में विचार विमर्श हुआ, चूंकि श्री शर्मा एचईआरसी का पदभार ग्रहण करने से पहले सतलुज जल विद्युत निगम (एसजेवीएनएल) के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक थे।
उल्लेखनीय है कि वर्तमान में देश में 46910.17 मेगावाट हाइड्रो पावर का उत्पादन होता है, इसमें से 27254.45 मेगावाट राज्यों, 15724.72 मेगावाट केंद्र सरकार तथा 3931 मेगावाट प्राइवेट कंपनियों द्वारा हाइड्रो पावर का उत्पादन किया जाता है। एसजेवीएनएल वर्तमान में 2227 मेगावाट हाइड्रो, सौर और पवन ऊर्जा का उत्पादन करती है, देश का सबसे बड़ा हाइड्रो प्लांट नाथपा झाकड़ी जिससे 1500 मेगावाट बिजली का उत्पादन होता है, जो एसजेवीएनएल के अंतर्गत आता है, एसजेवीएनएल के रामपुर हाइड्रो प्लांट जिसका उत्पादन 412 मेगावाट है।
एसजेवीएनएल का मिशन है कि 2026 तक 12000 मेगावाट का उत्पादन करना है, तथा 2030 तक 25000 मेगावाट बिजली उत्पादन का लक्ष्य रखा गया है, इसमें हाड्रो, सौलर, पवन ऊर्जा यानी यह बिजली नॉन फॉसिल फ्यूल (गैर जीवाश्म ईंधन) से उत्पादित की जाएगी। हरियाणा को नाथपा झाकड़ी हाइड्रो प्लांट से 64.05 मेगावाट तथा रामपुर हाइड्रो से 17.02 मेगावाट बिजली मिलती है। इसके अतिरिक्त हरियाणा के बिजली उपभोक्ताओं को ग्रीन एनर्जी के बारे में जागरूक करने तथा प्रदेश के लोगों को गुणवत्ता पूर्वक बिजली उपलब्ध कराने संबंधी विषयों पर चर्चा हुई।