गुरूग्राम जिला से बिहार के दरभंगा के लिए स्पेशल श्रमिक ट्रेन रवाना

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– ट्रेन की 22 बोगियों में 1424 प्रवासी नागरिक चले अपने गांव
-अब तक गुरूग्राम से जा चुकी हैं 6 स्पेशल ट्रेन, जिनमें 8500 से ज्यादा प्रवासी पहुंचे अपने घर।
– परिजनों से मिलकर फिर वापिस आने की अपील।

गुरूग्राम, 16 मई। कोविड-19 वैश्विक महामारी के इस दौर में लॉकडाउन की स्थिति में हरियाणा सरकार की अतुलनीय पहल के चलते प्रवासी नागरिकोें को उनके घर निशुल्क पहुंचाने में गुरूग्राम जिला महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है। अब तक जिला से 6 स्पेशल ट्रेन अलग-अलग राज्यों के लिए चलाई जा चुकी है जिनमें 8500 से ज्यादा प्रवासी नागरिकों को उनके घर भिजवाया जा चुका है। आज भी गुरूग्राम के रेलवे स्टेशन से एक श्रमिक स्पेशल ट्रेन चलाई गई जिसमें 1424 यात्रियों को बिहार के दरभंगा के लिए रवाना किया गया। इस दौरान सोशल डिस्टेंसिंग का विशेष तौर पर ध्यान रखा गया।

शनिवार को उपायुक्त अमित खत्री के मार्गदर्शन में गुरूग्राम जिला के रेलवे स्टेशन से बिहार के दरभंगा के लिए स्पेशल श्रमिक ट्रेन रवाना की गई। रेलवे स्टेशन पर प्रवासी नागरिकों को उनके गृह जिला में रवाना करने के लिए अधिकारियों की ड्यूटी लगाई गई थी। पुलिसकर्मियों से लेकर, सिविल डिफेंस सहित अन्य अधिकारियों की निगरानी में यह ट्रेन रवाना की गई। बिहार के दरभंगा के लिए यह ट्रेन प्रातः 11 बजे रवाना हुई। रेलवे स्टेशन पर श्रमिकों के प्रवेश से पूर्व उनकी थर्मल स्कैनिंग से स्वास्थ्य की जांच की गई और सोशल डिस्टेंसिंग के साथ साथ यह सुनिश्चित किया गया कि सभी श्रमिकों ने फेस मास्क पहने हों।

प्रवासी श्रमिक अपने परिजनों से मिलने को लेकर उत्साहित थे, वहीं उनके चेहरों पर मौन संतुष्टि का भाव दिखाई दे रहा था। जाते हुए वे हरियाणा की संस्कृति और हरियाणा सरकार की ओर से की गई मदद के विचार अपने साथ जरूर लेकर गए हैं। जिला उपायुक्त अमित खत्री के मार्गदर्शन में बिहार के दरभंगा जाने वाले प्रवासी नागरिकों के सुखद भविष्य की कामना करते हुए उन्हें सुरक्षा कवच के रूप में मास्क, पानी की बोतल व बिस्कुट के पैकट देते हुए रवाना किया गया। उन्हें ट्रेन की टिकट निःशुल्क उपलब्ध करवाई गई थी। श्रमिकों ने हरियाणा सरकार और गुरुग्राम प्रशासन का तालियां बजाते हुए आभार व्यक्त किया। आज रेलवे स्टेशन पर अक्षर फाउंडेशन द्वारा भी प्रवासी श्रमिकों के लिए एक हजार फूड पैकेट तैयार करवाए गए थे जिसमें यात्रियों के लिये दही, रोटी, सब्जी व पानी की बोतलें थी।

यात्रियों ने कुछ इस प्रकार से व्यक्त किए अपने भाव, कहा सरकार ने मानवता की सोच के साथ उठाए कदम । ट्रेन में सीतामढ़ी के लिए सफर कर रहे आशुतोष ने अपनी भावनाएं व्यक्त करते हुए कहा, हरियाणा सरकार की ओर से मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल ने मानवता की सोच के साथ सभी को उनके परिजनों से मिलने का सुअवसर दिया है। ऐसे में वे सुखद अनुभूति के साथ अपने घर जा रहे हैं। गुरूग्राम ने उन्हें रोजगार के साथ साथ यहां के लोगों का प्यार भी मिला है जिसे वे कभी नही भुला पांएगे। मुश्किल की घड़ी में सरकार ने उनके खान-पान से लेकर रहने तक का इंतजाम किया जो वे हमेशा याद रखेंगे। आशुतोष ने कहा कि ‘ गुरूग्राम ने मुझे बहुत कुछ दिया है, हालात सुधरने का इंतजार करूंगा और लौटकर आउंगा‘।

सिर्फ ड्यूटी नही बल्कि अपना कर्तव्य समझकर काम कर रहे हैं सिविल डिफेंस के वालंटियर-

सिविल डिफेंस के लोग जिस समर्पण भाव से जरूरतमंद लोगों की मदद कर रहे है वह नजारा रेलवे स्टेशन पर देखने लायक था। बिना थके, बिना रूके सिफिल डिफेंस के लोग परोपकार की भावना से लोगों की मदद कर रहे थे, मानो उनमें यात्रियों की मदद करने के लिए होड़ लगी हो। चेहरे पर मुस्कुराहट लिए प्रत्येक व्यक्ति प्रवासी नागरिकों की मदद कर रहा था। कहीं दिव्यांगों को सिविल डिफेंस कर्मी ट्रेन में पहुंचाते दिखे तो कुछ उन्हें फूड पैकेट देते हुए दिखाई दिए। जिस अपनत्व भाव से प्रवासियों को रेल में बिठाया जा रहा है उस भावना को शब्दों में पिरोना कठिन है। सिविल डिफेंस के डिप्टी चीफ वार्डन मोहित ने बताया कि वे लोग इसे केवल अपनी ड्यूटी समझते हुए काम नही कर रहे बल्कि इसे समाज के प्रति अपना उत्तरदायित्व समझते हुए दिन-रात लोगों की मदद कर रहे हैं। आपदा की इस स्थिति में हमारा प्रयास है कि लोग गुरूग्राम की एक अच्छी छवि व स्मृति लेकर यहां से विदा लें।

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