कुंभ मेले में ‘प्रवासी भारतीय दिवस’ के प्रतिनिधियों के लिए विशेष व्यवस्था

Font Size

प्रयागराज। उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में आयोजित कुंभ मेले में प्रवासी भारतीय दिवस के प्रतिनिधियों के लिए विशेष व्यवस्थाएं की गई हैं। प्रवासी भारतीय दिवस 21 जनवरी को वाराणसी में शुरू होने जा रहा है। इस सम्मेलन में 10 हजार लोगों के शामिल होने की उम्मीद है। प्रवासी भारतीय दिवस में भाग लेने वाले लोग प्रयागराज में आयोजित दुनिया के सबसे बड़े आध्यात्मिक मेले कुंभ में 24 जनवरी को शामिल होंगे। यहां संगम पर पवित्र स्नान करने की विशेष व्यवस्था है। प्रयागराज कुंभ मेले में शामिल होने के बाद प्रवासी भारतीय दिवस के लिए आए लोग दिल्ली जाएंगे जहां वे 70वें गणतंत्र दिवस समारोह में शामिल होंगे।

यूपी सरकार द्वारा 21 से 23 जनवरी के बीच गंगा घाटों पर बहुप्रतीक्षित सालाना सांस्कृतिक कार्यक्रम गंगा महोत्सव का आयोजन किया जाएगा, जिसमें हमारी संस्कृति और विरासत की झलक देखने को मिलेगी। काशी में घाटों पर गंगा आरती पर्यटकों में काफी लोकप्रिय है। प्रवासी भारतीय दिवस के मेहमानों के लिए विशेष जगह आरक्षित की गई है जहां से वे इस महोत्सव का आनंद उठा सकें।

भारत की आध्यात्मिक राजधानी वाराणसी प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन में शामिल होने आए दुनिया भर के लोगों का स्वागत करने के लिए तैयार है। इस गुंजायमान और रंगारंग सम्मेलन का उद्देश्य देश के बाहर रह रहे भारतीय समुदाय को भारत सरकार से और उन्हें उनकी जड़ों से फिर से जोड़ना है। दो साल के अंतराल पर आयोजित होने वाला यह 15वां भारतीय प्रवासी दिवस है। सम्मेलन के दौरान चुनिंदा प्रवासी भारतीयों को देश और दुनिया में उनके योगदानों को पहचान दिलाने के लिए प्रवासी भारतीय सम्मान पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा। 15वां प्रवासी भारतीय दिवस वाराणसी (बनारस और काशी के नाम से भी प्रसिद्ध) में आयोजित होगा, जो दुनिया के सबसे अधिक पुराने जीवंत शहरों में से एक है।

प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन 2019 का थीम नये भारत के निर्माण में प्रवासी भारतीयों की भूमिका है। प्रवासी भारतीय दिवस के प्रतिनिधियों के लिए प्रयागराज में आयोजित कुंभ मेला और दिल्ली में गणतंत्र दिवस परेड में शामिल होने के लिए विशेष व्यवस्थाएं की गई हैं। वाराणसी के बदलापुर में व्यापार सुविधा केन्द्र और हस्तकला संग्रहालय में आयोजित होने वाले इस सम्मेलन में करीब 10 हजार लोगों के शामिल होने की उम्मीद है।

You cannot copy content of this page